टिहरी: आज जो तस्वीर हम आपके सामने लेकर आए है, उसमे जो झरना दिखाई दे रहा है वह झरना नहीं है बल्कि ऑल वेदर रोड है जो बारिश के कारण बुरी तरह से क्षतिग्रस्त हो गई है. सड़क का इतना बड़ा भाग इस तरह टूट गया है कि यह झरने में बदल चुका है. लोगों को अब सड़क किनारे बनी दीवार और उसके पीछे से गीले पत्थरों से होकर निकलना पड़ रहा है. एक तरफ करोड़ों रुपये के ऑल वेदर प्रोजेक्ट की क्वालिटी को लेकर प्रश्न खड़े हो रहे हैं तो दूसरी तरफ कई स्थान रूट डायवर्ट किए जाने के साथ ही, टिहरी में दो नेशनल हाईवे को बंद कर दिया गया है.
उत्तराखंड में पुलों और सड़कों पर भारी वर्षा का कहर कम नहीं हो रहा है. देहरादून में पुल और सड़कें टूट जाने की खबरों के उपरांत टिहरी ज़िले में भी भारी वर्षा से आफत की खबरें सुनने को मिली है. NH-58 और NH-94 पर भारी लैंडस्लाइड होने से दोनों नेशनल हाईवे पूरी तरह से बंद हो चुके है. वहीं NH-94 पर फकोट में रोड का एक बड़ा भाग वॉश आउट हो जाने से लोगों को पहाड़ियों और पगडंडियों के सहारे जान जोखिम में डालकर सड़क पार करने के लिए मजबूर हो चुके है. प्रशासन यात्रियों को बेवजह यात्रा न करने के निर्देश जारी करते हुए हाईवे को बंद किया जा चुका है.
जहां इस बात का पता चला है कि टिहरी में गुरुवार से हो रही भारी वर्षा से जनजीवन बुरी तरह से प्रभावित हुआ है. तोताघाटी शिवपुरी के पास भारी मलबा आने से NH-58 को बंद किया जा चुका है, तो NH-94 पर फकोट के पास रोड का एक बड़ा भाग वॉश आउट किया जा चुका है. आसपास की सड़क पर भी दरारें पड़ गई हैं, जिससे निरंतर रोड टूटने लगी है. नागणी, खाड़ी और नरेन्द्रनगर के पास कई जगहों पर भारी मलबा और बोल्डर आ गए हैं, जिन्हें मशीनों से हटाने की कोशिश जारी है.
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