आरूषि हत्याकांड की पर्त खोलेगी अविरूक की किताब
आरूषि हत्याकांड की पर्त खोलेगी अविरूक की किताब
Share:

नई दिल्ली : वर्ष 2013 के बहुचर्चित आरूषि - हेमराज हत्याकांड को लेकर अब पत्रकार अविरूक सेन की किताब सामने आ रही है। इस किताब ने इस केस के कई अनछुए पहलूओं को भी सामने लाकर रख दिया है। माना जा रहा है कि इस किताब से हत्याकांड को लेकर कई बड़े खुलासे सामने आ सकते हैं। दरअसल आरूषि - हेमराज हत्याकांड को लेकर पत्रकार अविरूक सेन द्वारा केस के दौरान हुई सुनवाई का भी बारीकी से उल्लेख किया गया है। इसमें उल्लेख किया गया है कि किस तरह से अदालत में बचाव पक्ष को बहुत कम समय दिया गया। जबकि जज द्वारा इस मसले पर सुनवाई करने में जल्दी की जाती रही।

यही नहीं सीबीआई जांच में भी बहुत कमियां थीं। इस किताब के माध्यम से कहा गया है कि इस मामले की सुनवाई को लेकर जज द्वारा बचाव पक्ष के वकील मीर से जल्दी अपनी बात समाप्त करने को कहा जाता था। दूसरी यह कहा जाता था कि लिखित में तर्क जमा किए जाऐं। मामले में कहा गया कि सीबीआई जांच में बहुत कमियां थीं दरअसल यहां सबसे बड़ी समस्या टाइपिंग की थी। गाजि़याबाद में अधिकांश टाईपिस्ट हिंदी ही जानते थे, अंग्रेजी टाईपिंग पर किसी की पकड़ नहीं थी। ऐसे में टाईपिंग एक बड़ी मुश्किल थी।

जज ने अपने बेटे आशुतोष को टाईपिंग का काम सौंप दिया। इस दौरान कहा गया कि बचाव पक्ष के तर्क तो सुने ही नहीं गए। कहा गया कि फैसले में कुछ अच्छे शब्दों का भी उपयोग किया जाना था। इसलिए इसे लिपिबद्ध करने में काफी समय लगा। फैसला ही 210 पन्नों का था। बचाव पक्ष की भी यही परेशानी थी। जो टाईपिस्ट बचाव पक्ष के पास था वह कबाब व्यापारी था और त्यौहार होने से बहुत बीज़ी था। इस पुस्तक में ऐसी कई बातों का उल्लेख किया गया है जो इस फैसलेे पर सवाल उठाते हैं।

रिलेटेड टॉपिक्स
- Sponsored Advert -
मध्य प्रदेश जनसम्पर्क न्यूज़ फीड  

हिंदी न्यूज़ -  https://mpinfo.org/RSSFeed/RSSFeed_News.xml  

इंग्लिश न्यूज़ -  https://mpinfo.org/RSSFeed/RSSFeed_EngNews.xml

फोटो -  https://mpinfo.org/RSSFeed/RSSFeed_Photo.xml

- Sponsored Advert -