मध्यप्रदेश / उज्जैन: इन दिनों मध्यप्रदेश में बाबा महांकाल की नगरी उज्जैन में सिंहस्थ चर्चा में है. यहाँ कई तरह के साधु संत अपना डेरा जमाए बैठे हुए है. वही कई बाबा ऐसे है जिनके ऊपर कई तरह के मुक़दमे दर्ज है. वही ठगी के आरोपों के बीच पायलट बाबा की जापानी शिष्या और जूना अखाड़े की महामंडलेश्वर केको आइकावा ने शनिवार को सिंहस्थ शिविर छोड़ दिया. वजह है कि उनकी संस्था पर 500 करोड़ रुपए की ठगी का आरोप है. हालांकि पायलट बाबा ने इस बारे में कहा कि आइकावा खराब स्वास्थ्य के चलते दिल्ली गई हैं. जल्द लौट आएंगी।
बता दे कि महामंडलेश्वर केको आइकावा इंटरनेशनल एजुकेशन संस्था की वाइस प्रेसीडेंट हैं. संस्था पर आरोप है कि कम्प्यूटर शिक्षा के नाम पर उसने कई लोगों से 500 करोड़ रुपए उगाहे. संस्था ने दावा किया था कि सिर्फ एक रुपए में कम्प्यूटर की शिक्षा दी जाएगी. इसके लिए देशभर में विभिन्न् संस्थाओं को 50-50 हजार रुपए लेकर फ्रेंचाइजी दी गई. कहा गया था कि पढ़ाई का पूरा खर्च एजुकेशन संस्था वहन करेगी. मगर कोई शिक्षा नहीं दी गई. मामले में संस्था पदाधिकारियों के खिलाफ डेढ़ दर्जन से अधिक मुकदमे भी दर्ज किए गए थे. बताया जाता है कि आइकावा के गुरु पायलट बाबा इस संस्था के अध्यक्ष थे. हालांकि उन्होंने इस बात से इंकार किया है.
गौरतलब है कि जूना अखाड़े के वरिष्ठ महामंडलेश्वर पायलट बाबा ने आइकावा को महामंडलेश्वर की उपाधि दिलवाई. गत सिंहस्थ में आइकावा ने बाबा के शिविर में समाधि भी लगाई थी. इस बार सिंहस्थ में आइकावा ठगी के आरोपों को लेकर चर्चा में हैं. आइकावा माता स्वास्थ्य खराब होने के कारण दिल्ली गई हैं. जल्द ही वे वापस शिविर में आ जाएंगी. कुछ लोग बदनाम करने के लिए झूठे आरोप लगा रहे हैं. इनमें कोई सच्चाई नहीं है. संस्था अपना काम कर रही है.