'लक्ष्मण ने सोचा, राम को समुद्र में धकेल दूँ और सीता संग चला जाऊं..', कांग्रेस नेता का विवादित बयान
'लक्ष्मण ने सोचा, राम को समुद्र में धकेल दूँ और सीता संग चला जाऊं..', कांग्रेस नेता का विवादित बयान
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कोच्ची: कांग्रेस के नेता हिन्दुओं और उनके देवी-देवताओं के प्रति अपनी घृणा प्रदर्शित करने में जरा भी नहीं हिचकते। गौर करने वाली बात ये भी है कि, पार्टी का कोई भी नेता कभी किसी दूसरे धर्म पर कोई टिप्पणी नहीं करता। शायद वे अच्छी तरह जानते हैं कि, ऐसा करने पर पाहे तो उन्हें वोट नहीं मिलेंगे और 'सर तन से जुदा' भी हो सकता है, लेकिन हिन्दुओं और उनके आराध्यों को गाली देने से एकमुश्त वोट मिलते हैं। इसीलिए कांग्रेस नेता इस तरह के ऊलजलूल बयान देते हैं और बड़ी बात तो ये है कि, पार्टी का शीर्ष नेतृत्व भी इन नेताओं पर कोई कार्रवाई नहीं करता।  

इसी कड़ी में अब केरल प्रदेश कांग्रेस समिति के अध्यक्ष के सुधाकरन ने हिन्दू धर्म को लेकर जहर उगला है। वैसे तो  सुधाकरन अक्‍सर अपने अजीबोगरीब बयानों के लिए विवादों में रहते हैं, मगर इस बार तो उन्होंने भगवान श्रीराम का अपमान किया है। उन्होंने एक अखबार को दिए इंटरव्यू में न केवल भगवान राम, माँ सीता और लक्ष्‍मण का तिरस्कार किया, बल्कि रामायण में वर्णित तथ्यों को तोड़-मरोड़ कर पेश किया। दरअसल, केरल कांग्रेस अध्यक्ष के सुधाकरन से एक इंटरव्यू में पूछा गया था कि दक्षिण केरल और मालाबार के नेता कैसे अलग हैं।

इस पर उन्‍होंने कहा कि, 'हाँ ऐतिहासिक रूप से अंतर है। मैं आपको एक कहानी सुनाता हूँ। भगवान राम, रावण का वध करने के बाद अपनी पत्नी सीता और भाई लक्ष्‍मण संग पुष्‍पक विमान से आ रहे थे। जब विमान केरल के दक्षिणी क्षेत्र से निकल रहा था, तब लक्ष्मण के मन में राम को समुद्र में धकेलने और सीता के साथ जाने का विचार आया। मगर जैसे ही वह थिरुसुर पहुँचे, उनका विचार बदल गया। इस पर भगवान राम ने उनके कंधे पर थपथपाते हुए कहा था कि उन्होंने लक्ष्मण के मन को पढ़ लिया था और यह उनकी (लक्ष्मण) नहीं, बल्कि उस धरती (दक्षिणी केरल) की गलती थी।'

कांग्रेस नेता के इस बयान की जमकर आलोचना हुई और जिसके बाद उन्हें अपना बयान वापस लेना पड़ा। रिपोर्ट के मुताबिक, सुधाकरन ने अपना बयान वापस लेते हुए कहा कि यह मालाबार क्षेत्र की एक प्रचलित कहानी है, जिसे सुनकर वह बड़े हुए हैं। उन्होंने कहा कि, 'मैंने जो कहानी सुनी थी, उसी को सुनाया था। मेरा उद्देश्य किसी को ठेस पहुँचाना नहीं था।'  वहीं भाजपा के IT सेल के प्रमुख अमित मालवीय ने सोमवार (18 अक्‍टूबर) को कांग्रेस के हिंदू विरोधी मानसिकता पर सवाल खड़े किए हैं।

 

मालवीय ने कहा है कि, 'एक राज्य (केरल) जहाँ से कांग्रेस के पूर्व राष्ट्रीय अध्यक्ष राहुल गाँधी, लोकसभा सांसद है और उन्होंने अपनी ‘भारत जोड़ो यात्रा’ के लिए सबसे अधिक समय (18 दिन) यहीं बिताया है, वहाँ के प्रदेश अध्यक्ष ने भगवान राम, माँ सीता और लक्ष्‍मण का तिरस्कार किया है। ये किस प्रकार के हिन्दुओं से नफरत करने वाले लोग कांग्रेस के शीर्ष पदों पर बैठे हैं, या यही उनकी योग्यता है।' अपने इसी इंटरव्‍यू में सुधाकरण ने कांग्रेस अध्‍यक्ष पद के उम्मीदवार शशि थरूर को एक ट्रेनी बताया था और कहा था कि वह पार्टी का नेतृत्व नहीं कर सकते।

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