चिकनगुनिया, डेंगू जैसे वायरल बुखार आजकल बढ़ रहा है. ये बीमारी बारिश के मौसम में अधिक होती है क्योंकि इसमें मच्छर ज्यादा आते हैं. इसी एक साथ पीड़ित मरीजों की संख्या बहुत ही बढ़ गयी है. इन्ही की वजह से ही लोग कई तरह के टेस्ट करवाते है. कुछ बीमारीं ऐसी हैं जिनका इलाज करवाने के लिए आपको अस्पताल के दस चक्कर काटने पड़ते हैं. चिकनगुनिया के लक्षण मे सिर दर्द, उलटी होना, तेज़ बुखार के साथ ठण्ड का अहसास होना, चेहरे व पेरो मे दाने होना, जोड़ो मे सुजन और दर्द होना, आदि. कई लोगो को जानकारी सही न होने पर यह बीमारी का इलाज काफी महंगा पड जाता है, जिसके कारण मरीज़ को काफी परेशानी का सामना भी करना पड़ता है. तो चलिए आपको बता देते हैं बारिश में होनी वाली इन बिमारियों के उपचार.
चिकनगुनिया के उपचार
1. देशी गाय का दूध
देशी गाय के दूध, दही, घी के सेवन से चिकनगुनिया के बुखार मे लाभ मिलता है.
2. पपीते के पत्ते
पपीते के पत्ते को उसके डंठल से अलग कर दे, और पत्तो को पिस कर इसका जूस दिन मे तीन बार 2-3 चम्मच का रोजाना सेवन करने से भी राहत मिलती है.
3. लहसुन
लहसुन की कली को तेल मे अच्छे से गर्म कर ले. अब इस तेल से जोड़ो पर हल्के हाथो से मालिश करे ऐसा करने से जोड़ो के दर्द मे राहत मिलेगी.
4. लौंग
लौंग के तेल मे लहसुन की कली को पीसकर डाले. फिर इसे कपडे मे बांधकर जोड़ो पर सी कपडे को बांध देI इससे भी जोड़ो के दर्द मे राहत मिलेगी और बुखार भी कम होने लगेगा.
5. गाजर
कच्ची गाजर के सेवन भी चिकनगुनिया के बुखार मे आराम मिलता है और मरीज़ मे रोग प्रतिरोधकता बढ़ जाती है.
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