सुप्रीम कोर्ट में मराठा आरक्षण की संवैधानिक वैधता पर 8 मार्च तक टली सुनवाई
सुप्रीम कोर्ट में मराठा आरक्षण की संवैधानिक वैधता पर 8 मार्च तक टली सुनवाई
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महाराष्ट्र: सरकारी नौकरी और कॉलेज एडमिशन में मराठा समाज के आरक्षण की संवैधानिक वैधता पर सुप्रीम कोर्ट में आज फैसला होने वाला था लेकिन अब उसे टाल दिया गया है। जी हाँ, हाल ही में मिली जानकारी के मुताबिक अब यह फैसला 8 मार्च तक के लिए टाल दिया गया है। जी दरअसल महाराष्ट्र सरकार के वकील कपिल सिब्बल ने 1 मार्च से ओपन कोर्ट में सुनवाई की मांग की है लेकिन उसे कोर्ट ने ठुकरा दिया है। हाल ही में सुप्रीम कोर्ट ने यह साफ कर दिया है कि 8 मार्च से सुनवाई शुरू होगी और 18 मार्च तक सुनवाई पूरी करनी है।

वहीँ आगे यह भी साफ़ किया गया है कि 'इस बीच अगर कोर्ट खुलते है तो सुनवाई ओपन कोर्ट में होगी या फिर वर्चुअल कोर्ट में।' सुनवाई ओपन कोर्ट में हो या वर्चुअल कोर्ट मे इस मामले में महाराष्ट्र सरकार के वकीलों ने पिछली सुनवाई में कोर्ट से एक मांग की थी। इस मांग में यह कहा गया था कि सुनवाई जब कोर्ट खुल जाए तब ओपन कोर्ट मे ही की जाए। वैसे आपको पता ही होगा मराठा समाज बीते काफी सालों से आरक्षण की मांग कर रहा है। इसी को लेकर मराठा समाज सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायक करने के लिए गया है। इस याचिका में आरक्षण पर कोर्ट की लगाई अंतरिम रोक हटाने की मांग लिखी गई है।

जी दरअसल महाराष्ट्र सरकार के वकील कपिल सिब्बल ने बीते दिनों सुनवाई के दौरान कहा था कि, 'केस के जरूरी कागज़ात अलग-अलग वकीलों के पास है और कोरोना के कारण सभी कागज़ात एक साथ पेश नहीं किये जा पा रहे है। इसलिए जब कोर्ट खुल जाए तभी ओपन कोर्ट में इसमें सुनवाई की जाए।'

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