केरल उच्च न्यायालय ने राज्य में 31 जुलाई तक इस कार्य पर लगाईं रोक
केरल उच्च न्यायालय ने राज्य में 31 जुलाई तक इस कार्य पर लगाईं रोक
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कोच्चि: केरल उच्च न्यायालय ने प्रदश में 31 जुलाई तक सभी प्रकार के आयोजनों, खास तौर पर विरोध प्रदर्शनों और जुलूसों पर रोक लगा दी है. केवल  उन्हीं कार्यक्रमों को परमिशन मिलेगी जो बीते महीने राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन अथॉरिटी (एनडीएमए) की ओर से जारी दिशा निर्देशों के मुताबिक होंगे.
 
प्रदेश में कोरोना नियमों का उल्लंघन करते हुए होने वाले सार्वजनिक विरोध प्रदर्शन और बड़े जमावड़े पर प्रतिबंध लगाने के लिए दायर एक याचिका पर सोचते हुए उच्च न्यायालय की एक खंडपीठ ने प्रदेश सरकार को आदेश दे दिया है. इसमें कोई भी जुलूस और विरोध प्रदर्शन न हो सके, इसे सुनिश्चत करने के लिए वे सभी निरोधात्मक कदम उठाएंगे. बीते दिन जारी आदेश में मुख्य न्यायाधीश एस मणिकुमार और न्यायमूर्ति शाजी पी चाली ने बोला है कि केरल के मुख्य सचिव और प्रदेश पुलिस प्रमुख को यह सुनिश्चित करना चाहिए कि कोई राजनीतिक पार्टी दिशा निर्देशों और अन्य आदेशों का न तोड़े.  

बता दें की अदालत ने राजनीतिक पार्टियों को आदेश दे दिया है कि वे स्थिति के मुताबिक काम करें और एनडीएमए की ओर से जारी दिशा निर्देशों को तोड़ने पर किसी भी घटना में शामिल होने से खुद को बचाएं रखे. इसके अलावा एक वकील ने याचिका में आरोप लगाया था कि राजनीतिक पार्टियां और उनके सहयोगी संगठन केरल में कोरोना संक्रमण की रोकथाम के लिए लागू दिशा निर्देशों का तोड़ते हुए विरोध प्रदर्शन आयोजित कर रहे हैं.

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