कैसे हुई अंतर्राष्ट्रीय मजदूर दिवस की शुरूआत
कैसे हुई अंतर्राष्ट्रीय मजदूर दिवस की शुरूआत
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नई दिल्‍ली। विश्वभर में मजदूर दिवस मनाया जा रहा है। इस दौरान कहीं पर रैलियों का आयोजन हो रहा है तो कहीं सभाऐं आयोजित हो रही हैं कुछ संगठनों द्वारा मजदूरों को अवकाश दिया गया है। हालांकि हरियाणा सरकार मजदूर दिवस नहीं मना रही है। इसके पीछे तर्क है कि सरकार दीपावली के अगले दिन विश्वकर्मा दिवस मनाएगी। हालांकि मजदूर संगठनों ने इसका विरोध किया है मगर सरकार दीपावली के अगले दिन आने वाले इस दिन को ही मनाने पर अड़ी है।

मगर कई लोग जानना चाहते हैं कि आखिर मजदूर दिवस की शुरूआत कैसे हुई। वैश्विक स्तर पर मजदूर दिवस मनाने की शुरूआत 1 मई 1886 को हुई थी। जब मजदूरों ने विरोध किया तो पुलिस ने गोली चला दी। ऐसे में 1 मई को अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर मजदूरों का स्मरण किया गया।

दरअसल मजदूरों को 8 घंटे से अधिक समय तक काम करना पड़ता था। ऐसे में अमेरिका के मजदूर संघों ने मिलकर निश्‍चय किया कि वे 8 घंटे से ज्‍यादा काम नहीं करेंगे। ऐसे में श्रम संगठनों ने हड़ताल कर दी। हड़ताल के ही दौरान हेमार्केट में धमाका हो गया। जिसके बाद इस दिन को इस धमाके में मारे गए मजदूरों व लोगों की स्मृति में मनाया जाने लगा।

बाद में इसे अंतर्राष्ट्रीय मजदूर दिवस का स्वरूप दे दिया गया। भारत में मजदूर दिवस मनाने की परिपाटी किस तरह से आई और मजदूर दिवस क्यों मनाया जाता है। दरअसल मजदूर दिवस दरअसल भारत में लेबर किसान पार्टी ऑफ हिन्‍दुस्‍तान ने 1 मई 1923 को मद्रास में इसकी शुरुआत की थी। पहले यह दिन मद्रास दिवस के तौर पर मनाया जाता था।

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