श्रीनगर: धारा 375 हटाए जाने के बादे से जम्मू-कश्मीर को लेकर पाकिस्तान का जो रुख है, वो पूरी दुनिया के सामने आ चुका है। एक ओर जहां पाकिस्तान में युवा हथियार उठा रहे हैं, वहीं जम्मू-कश्मीर के युवाओं ने अपने जोश से पाकिस्तान को करारा जवाब दिया है। यहां 575 नौजवान जम्मू और कश्मीर लाइट इन्फैंट्री में भर्ती हुए हैं।
शनिवार को हुई पासिंग आउट परेड (पीओपी) के बाद यह सभी इंडियन आर्मी में शामिल हो गए। विशेष बात यह है कि पीओपी के दौरान इन सभी जवानों के परिजन भी उपस्थित रहे। जम्मू कश्मीर लाइट इन्फैंट्री में भर्ती होने के बाद वसीम अहमद मीर ने कहा कि 'मैं बहुत खुश हूं, मेरे माता-पिता गर्व महसूस कर रहे हैं।' मीर ने कहा कि 'हमें शारीरिक और मानसिक दोनों तरह से आर्मी में बहुत कुछ सीखने को मिलता है। मेरे पिता भी फ़ौज में थे, उनकी वर्दी ने मुझे सुरक्षाबल में शामिल होने के लिए प्रोत्साहित किया।'
वहीं एक अन्य जवान ने कहा कि हमें बड़ी खुशी हुई कि हमने अपना प्रशिक्षण खत्म कर अब अपनी पलटन में जाएंगे और पूरी निष्ठा से देश की सेवा करेंगे। आपको बता दें कि जम्मू-कश्मीर के राजौरी में शहीद जवान औरंगजेब के दो भाई भी फ़ौज में भर्ती हो चुके हैं। बेटों को फ़ौज में भर्ती होने के दौरान शहीद के पिता मोहम्मद हनीफ ने कहा था कि उन्होंने अपने एक बेटे की शहादत का बदला लेने के लिए दो बेटों को आर्मी में भेजा है।
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