शिमला : आय से अधिक संपति के मामले में घिरे हिमाचल के मुख्यमंत्री वीरभद्र सिंह को प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने समन जारी किया है। ED ने उनके व उनके साथियों के खिलाफ मनी लॉंडरिंग का मामला दर्ज किया है। इसी केस में उन्हें एजेंसी के सामने पेश होना है। वीरभद्र के खिलाफ सीबीआई ने सितंबर माह मे एक आपराधिक मामला दर्ज किया था। इसी मामले को संज्ञान लेते हुए ED ने मनी लॉंडरिंग रोकथाम अधिनियम के तहत आरोप लगाए है।
ED इस केस में यह पता लगाएगा कि कैसे वीरभद्र के परिवार ने 2 साल के अंदर 6.1 करोड़ की इतनी बड़ी राशि अपने नाम कर ली। इस अवधि में वीरभद्र केंद्रीय इस्पात मंत्री के पद पर थे। सीबीआई वीरभद्र, उनकी पत्नी प्रतिभा सिंह, बीमा एजेंट आनंद चौहान और चौहान के भाई सी.एल. चौहान के खिलाफ भ्रष्टाचार निवारक अधिनियम के तहत पहले ही एक प्राथमिकी दर्ज कर चुकी है।
सीबीआई को संदेह है कि इस मामले में वीरभद्र की मदद बीमा एजेंट ने की। वीरभद्र और उनके परिवार के नाम कई बीमा पॉलिसियाँ करके इस घपले को अंजाम दिया गया। इतनी बड़ी राशि को उन्होने कृषि से हुई आय का नाम दिया था। 2012 में इनकम टैक्स रिटर्न भरने में इस धनराशि को कृषि के आय के रुप में वैध्य बनाने की कोशिश की गई थी।
इस पर सीबीआई का आरोप है कि नए आईटीआर में उनके द्वारा दिए गए तथ्यों को उचित नही पाया गया। इस दौरान तत्कालीन मंत्री रहे वीरभद्र के पास प्रत्यक्ष स्त्रोत से अधिक संपति पाई गई। सीबीआई ने मामला दर्ज करने के बाद कई जगहों पर छापेमारी भी की। सूत्रों के अनुसार, शिमला में स्थित ED कार्यालय दिल्ली स्थित एजेंसी मुख्यालय के सहयोग से मामले का निपटारा करेगी।