बुराड़ी कांड: 11 पाइप का राज बताया भाई दिनेश ने
बुराड़ी कांड: 11 पाइप का राज बताया भाई दिनेश ने
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बुराड़ी कांड के रहस्यों से रोज पर्दा उठ रहा है. पुलिस और जांच दाल खुद को अभी सच से उतना ही दूर पा रही है जितना पहले दिन थी. परिवार के 11 सदस्यों ने एक साथ खुद को अन्धविश्वास के हाथो फांसी पर चढ़ा लिया. जिसके बाद कई तथ्य निकल कर सामने आये मगर ज्यादातर अन्धविश्वास और तांत्रिक क्रिया में लिप्त होने की और ही इशारा कर रहे है. घटना के चित्तौड़गढ़ में रहने वाले तीसरे भाई दिनेश ने मौतों के पीछे तंत्र-मंत्र और धर्मांधता या किसी तांत्रिक की बात होने से इनकार किया है.

दिनेश ने उन 11 पाइपों के रहस्य को भी किसी क्रिया का हिस्सा होने से इंकार किया और कहा कि पाइप से मोक्ष मिलने वाली बात बिल्कुल गलत है. उन्होंने कहा कि दरअसल उनके भाई का प्लाईउड का काम था, इस वजह से काफी काफी गैस बनती थी और इन 11 पाइपों को इसीलिए लगवाया गया था ताकि गैस निकलती रहे. उनका साफ-साफ कहना है, 'क्राइम ब्रांच जो बातें कर रही है वो बिल्कुल गलत हैं. हमारा परिवार धार्मिक परिवार था. इस तरह की कोई बात नहीं थी. हम पूरी तरह से इस बात का खंडन करते हैं. पुलिस मामले की तफ्तीश कर रही है. हमें नहीं पता कि रजिस्टर की क्या बात है. यह आत्महत्या का मामला नहीं है हत्या का मामला है.'

वहीं दिनेश की बहन सुजाता का कहना है कि उनका परिवार धार्मिक है, लेकिन अंधविश्वासी कतई नहीं था. सुजाता ने मौतों के पीछे तंत्र-मंत्र या तांत्रिक विद्या से पूरी तरह इनकार किया है और कहा है कि उनके परिवार ने आत्महत्या नहीं की, बल्कि उनकी हत्या की गई है. घर से बाहर निकले 11 पाइपों के बारे में सुजाता का कहना है कि ये पाइप वेंटिलेशन और एक सोलर प्रोजेक्ट के लिए लगाए गए थे. कहीं न कहीं कुछ साजिश है. वही घटना के बाद ललित के किरदार अपर भी शक की सुइया घूमी. परिवार उसी के अनुसार चलता था. मौत की रत घर के लोगो का खाना न खाना, पूजा अनुष्ठान और दो रजिस्टर में लिखी बातें और ललित के जानने वालो का कहना की  उसका दावा था कि पिता उसे दिखाई देते हैं और उसके पिता ने उसे मोक्ष हासिल करने के लिए कहा था. सब अन्धविश्वास की ओर इशारा कर रहे है. 

पुलिस ने बताया कि रजिस्टर में ललित ने लिखा था, 'पिताजी ने कहा है कि आखिरी समय पर झटका लगेगा, आसमान हिलेगा, धरती हिलेगी. लेकिन तुम घबराना मत, मंत्र जाप तेज कर देना, मैं तुम्हें बचा लूंगा . जब पानी का रंग बदलेगा तब नीचे उतर जाना, एक दूसरे की नीचे उतरने में मदद करना. तुम मरोगे नहीं, बल्कि कुछ बड़ा हासिल करोगे.' पुलिस का कहना है कि ललित के कहने पर ही शनिवार की रात पूरे परिवार ने पूजा अनुष्ठान किया था. घर में हवन किया गया था और एक बोतल में पानी भी भर कर रखा हुआ था. रजिस्टर में ये भी लिखा हुआ था कि हाथ की पट्टी बच जाए तो मुंह पर डबल कर लेना. सूत्रों का कहना है कि सिर्फ ललित और उसकी पत्नी टीना के हाथ नहीं बंधे हुए थे.

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