नई दिल्ली : आधार कार्ड नहीं बनने, देरी से मिलने या नहीं बनाने को लेकर आई कई शिकायतों के बीच एक अच्छी खबर एमपी के सुदूर आदिवासी बहुल जिले झाबुआ से आई है, जहाँ एक लाडली का आधार कार्ड जन्म के मात्र आधे घंटे में बन गया. यह जानकारी केन्द्रीय मंत्री रवि शंकर प्रसाद ने ट्विटर पर देकर ख़ुशी जाहिर करते हुए कहा कि झाबुआ के हेल्थ सेंटर में पैदा हुई बालिका राखी का आधार कार्ड जन्म के मात्र 22 मिनट बाद बन गया. एक सप्ताह के भीतर बच्ची के परिवार को आधार कार्ड मिल जाएगा.
उल्लेखनीय है कि यूआईडीएआई ने अपने नियमों में ढील दी है. अब इसके दायरे में 5 वर्ष से कम आयु के बच्चों को भी लाया गया है. वेबसाईट के मुताबिक़ पहले बच्चों को आधार के लिए पंजीकृत नहीं किया जाता था, क्योंकि 5 साल तक के बच्चों की उँगलियों के निशान बदलते रहते हैं. लेकिन पीएम के निर्देश के बाद नियमों में ढील दी गई.
नए नियमों के अनुसार जिनका नाम भी नहीं है वे बच्चे भी आधार के लिए पंजीकरण कर सकते हैं. बायोमेट्रिक उँगलियों के निशान 6 साल की उम्र के बाद भी लिए जा सकते हैं. वेब साईट के अनुसार यदि 5 साल से कम आयु के बच्चों का आधार कार्ड बनाया जाता है तो इसे माता-पिता के आधार कार्ड से जोड़ा जाएगा.