तेहरान : ईरान जैसे देश में किसी महिला का एंबेसडर बनना अपने आप में बड़ी बात है और वो भी 36 साल बाद तो चर्चा होना लाजिमी है। 1979 की इस्लामिक क्रांति के बाद पहली बार कोई महिला ईरान की ओर से किसी दूसरे देश में बतौर एंबेसडर नियुक्त हुई है। ईरान के विदेश मंत्री जावेद जरीफ ने रविवार को घोषणा करते हुए बताया कि मरजिह अकहाम को मलेशिया में ईरान का एंबेसडर बनाया गया है। अकहाम फिलहाल ईरान के विदेश मंत्रालय में स्पीकर है।
इस अनाउंसमेंट के बाद यह भी कहा गया कि उन्हें एंबेसडर बनाने का फैसला लेने में महज कुछ मिनट ही लगे, लेकिन फॉरेन मिनिस्ट्री में उनकी जगह कौन लेगा, ये फैसला करने में हमें चार महीने लगे। 50 वर्षीय अकहाम से पहले मलेशिया में जबेर अंसारी एंबेसडर थे। ईरानी मीडिया में अप्रैल से ही इस बात की चर्चा थी कि अकहाम का प्रोमोशन किया जाएगा। जिसमें उन्होने अकहाम को एंबेसडर बनाने की बात कही थी।
ईरानी मीडिया ने फॉरेन मिनिस्टर के अकहाम को एंबेसडर बनाने के फैसले को साहसी कदम बताया है। मीडिया ने कहा कि फॉरेन मिनिस्टर का यह फैसला महिलाओं में उनके भरोसे को साबित करता है। ईरान में दो साल पहले 2013 में हुए चुनाव में हसन रूहानी प्रेसिडेंट बने थे। रूहानी ने अपने मंत्रियों से साफ तौर पर कहा कि वे महिलाओं को उच्च पदों पर नियुक्त करें।
साथ ही उन्होंने ये भी साफ शब्दों में कहा था कि महिलाओं से किसी प्रकार का भेदभाव नहीं होना चाहिए। अरब जगत में ईरान एक मात्र ऐसा मुल्क है जहां महिलाओं को सबसे ज्यादा आजादी है। रूहानी सरकार के मंत्रिमंडल और संसद की कई अहम पोस्ट्स पर महिलाएं हैं।