इस मंदिर में पेड़ के नीचे स्थापित है शिवजी
इस मंदिर में पेड़ के नीचे स्थापित है शिवजी
Share:

दक्षिण भारत में कपालेश्वर मंदिर मायलापुर चैन्नई तमिलनाड़ु में स्थित है. भगवान शिव का यह मंदिर 1250 ईसवी में बनाया गया. महाशिवरात्रि पर यहां भक्त बड़ी संख्या में भगवान के दर्शन करने आते हैं.यहां कपालेश्वर महादेव का शिवलिंग के रूप में हैं. मंदिर में ही देवी पृथ्वी की मूर्ति भी है, जिसे भक्त पूरी आस्था से पूजते हैं. इसके अलावा दक्षिण

भारत में प्रसिद्ध भगवान मुरुगन जोकि भगवान शिव के पुत्र हैं उनकी प्रतिमा भी मौजूद है.पौराणिक ग्रंथों में कपालेश्वर मंदिर से जुड़ी एक कथा का उल्लेख मिलता है. एक बार मां उमा यानी पार्वती ने भगवान शिव के मंतिर 'ऊं नमः शिवाय' में से 'नमः शिवाय' का अर्थ जानना चाहा.तब उन्होंने कपालेश्वर मंदिर में भगवान शिव की पूजा करते समय भजन गाना शुरू किया. जब मां पार्वती भजन तेज आवाज में गा रही थीं तब उनके सामने एक मोर ने नृत्य करना शुरू कर दिया.

वह मोर शापित था. मां पार्वती ने उस मोर के नृत्य से काफी प्रसन्न हुई और उन्होंने उस मोर का शाप से मुक्त कर दिया. तब मां ने भगवान शिव के शिवलिंग को एक पेड़ के नीचे स्थापित किया. उस समय वहां कोई शहर नहीं था. हालांकि मां पार्वती को नमः शिवाय का अर्थ मिल गया था.तब मां पार्वती ने ही उस मोर के मानव रूप को करापवली नाम दिया और उसके अनुरोध पर वहां एक शहर की स्थापना की जिसे मायलापुर कहा गया. आदिकाल से ही इस मंदिर में शास्त्रीय संगीत और नृत्य की परंपरा चली आ रही है.

स्फटिक की माला धारण करने के फायदे

 

 

रिलेटेड टॉपिक्स
- Sponsored Advert -
मध्य प्रदेश जनसम्पर्क न्यूज़ फीड  

हिंदी न्यूज़ -  https://mpinfo.org/RSSFeed/RSSFeed_News.xml  

इंग्लिश न्यूज़ -  https://mpinfo.org/RSSFeed/RSSFeed_EngNews.xml

फोटो -  https://mpinfo.org/RSSFeed/RSSFeed_Photo.xml

- Sponsored Advert -