Apr 27 2016 07:25 PM
नई दिल्ली: दुनिया के खतरनाक आतंकी संगठन आईएसआईएस के सरगना बगदादी ने घातक आईआईईडी बनाने के लिए भारतीय कम्पनियों के कलपुर्जों का इस्तेमाल किया था. यह खुलासा स्वतंत्र समूह "कान्फ्लिक्ट आर्मामेंट रिसर्च" की एक जांच रिपोर्ट में हुआ|
यह मामला लोकसभा में भी उठा. इसका जवाब देते हुए गृह राज्य मंत्री हरि भाई पार्थी भाई चौधरी ने कहा कि सीएआर ने अपनी रिपोर्ट में जिन कलपुर्जों का जिक्र किया है उसे भारत ने लेबनान और तुर्की देशों को निर्यात किया था. पूरा व्यापार कानूनी दायरे में हुआ था. ये कलपुर्जे सीधे आतंकवादियों को नहीं दिए गये थे. आतंकियों के हाथों यह उपकरण लगना चिंता का विषय है|
गृह राज्य मंत्री ने सीएआर का उल्लेख करते हुए कहा कि इसे यूरोपीय संघ की मान्यता प्राप्त है. ये खुलासे आन-लाइन रिपोर्ट में हुए हैं. जिसके अनुसार सीएआर ने 2014–2016 के बीच आइएस द्वारा आईआईईडी बनाने के लिए उपयोग किये गये 700 कलपुर्जों का अध्ययन किया था. रिपोर्ट के अनुसार डेटोनेटर, डेटोनेटिंग कार्ड्स और सेफ्टी फ्यूज आईएस के हाथ लगे जो दूसरे देशों के अलावा भारत की सात कम्पनियों में भी बने थे|
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