देहरादून : उत्तराखंड में कांग्रेस मंगलवार को होने वाले बहुमत परीक्षण की तैयारी कर रही है। ऐसे में मुख्यमंत्री हरीश रावत विधायकों की कैंपेनिंग करने में लगे हुए हैं। कांग्रेसनीत सरकार के मुख्यमंत्री हरीश रावत स्टिंग आॅपरेशन के ही साथ विधायकों की खरीद के आरोपों से जुड़े हुए हैं। इस मामले में सीबीआई के सामने हरीश रावत नहीं पहुंचे। उन्हें आज सीबीआई के सामने पहुंचना था लेकिन वे दिल्ली नहीं गए।
पूर्व संसदीय कार्यमंत्री और कांग्रेस नेता इंदिरा हृदयेश ने बताया कि सीएम हरीश रावत को सदन में बहुमत परीक्षण का सामना करना है। ऐसे में वे सर्वोच्च न्यायालय के आदेश का पालन करेंगे। दरअसल बहुमत साबित करने की प्रक्रिया के लिए उन्हें तैयारी करना है। ऐसे में उन्हें विधायकों को पूरी प्रक्रिया को समझाना है यह बात बहुत महत्वपूर्ण है। वे दिल्ली जाने के हालात में नहीं थे।
उन्होंने कहा है कि सर्वोच्च न्यायालय ने 6 मई को इन मामलों की सुनवाई करते हुए उत्तराखंड में फ्लोर टेस्ट करवाने का आदेश भी दिया था। न्यायालय ने जो आदेश दिया है उसके अनुसार 10 मई प्रातः 11 बजे से दोपहर 1 बजे तक बहुमत परीक्षण करवाया जाएगा। ऐसे में न्यायालय के आदेश के अनुसार राष्ट्रपति शासन को 2 घंटे के लिए हटा लिया जाएगा। इस हेतु सर्वोच्च न्यायालय ने प्रधान सचिव को पर्यवेक्षक नियुक्त किया है। बहुमत परीक्षण के तहत संपूर्ण प्रकिय्रा की रिकाॅर्डिंग भी होगी। दूसरी ओर बागी विधायक मंगलवार को होने वाले बहुमत परीक्षण में भागीदारी नहीं कर पाऐंगे।