नई दिल्ली : जैसे कि पहले ही उम्मीद जताई जा रही थी,केंद्र की कैबिनेट ने बुधवार को अध्यादेश पारित करके 500 और 1,000 के पुराने नोट रखने को दंडनीय अपराध घोषित कर दिया. 30 दिसंबर के बाद पुराने नोटों को रखने, ट्रांसफर करने या किसी और तरह से बांटने पर बहुत बड़ा जुर्माना लगाया जाएगा जो कि 50 हजार रुपये तक हो सकता है.इस फैसले के पीछे एक उद्देश्य यह भी है कि गरीब तबके के लोगों को पुराने नोट देकर उनका शोषण न किया जा सके.सरकार को यह कड़ा कदम इसलिए भी उठाना पड़ा क्योंकि बाजार में 500 के नए नोट भी आ चुके हैं और ऐसे में गड़बड़ी की आशंका बढ़ गई है.
बता दें कि अध्यादेश में कुछ खास परिस्थितियों में लोगों को RBI की शाखाओं में पुराने नोट जमा कराने के लिए 31 मार्च,2017 तक का समय दिया गया है. इसमें इस बात की भी सुविधा दी गई है कि व्यक्ति स्मृति के लिए और मुद्राशास्त्र के अध्ययन के लिए 25 पुराने नोट रखने की छूट दी गई है , लेकिन इससे ज्यादा नोट रखने पर 5 हजार से 50,000 रुपये तक जुर्माना लगाया जाएगा. नोटों की संख्या निर्धारित सीमा से जितनी ज्यादा होगी जुर्माना उसी अनुपात में बढ़ता जाएगा. बैंकों में पुराने नोट जमा कराने की अंतिम तिथि 30 दिसंबर है. इसलिए यह अध्यादेश पास कराना सरकार के लिए बहुत जरूरी हो गया था.
इसके अलावा वित्त मंत्रालय की ओर से बुधवार को स्पष्ट किया गया है कि देश से बाहर रहने वाला कोई शख्स यहां रहने वाले किसी व्यक्ति को पुराने नोट जमा कराने के लिए अधिकृत कर सकता है.इसके लिए उसे एक अथॉरिटी लेटर और अपना आईडी प्रूफ देना होगा. इसके अलावा 30 दिसंबर तक प्रधानमंत्री गरीब कल्याण योजना (PMGKY) के लिए किसी भी तरह का टैक्स, पेनल्टी या सरचार्ज पुराने नोटों में चुकाया जा सकता है.