अब भारतीय अभ्यारण्य में दहाड़ लगाएगा अफ्रीकी चीता, सुप्रीम कोर्ट ने केंद्र को दी इजाजत
अब भारतीय अभ्यारण्य में दहाड़ लगाएगा अफ्रीकी चीता, सुप्रीम कोर्ट ने केंद्र को दी इजाजत
Share:

नई दिल्ली: शीर्ष अदालत ने भारतीय अभ्यारण्यों के लिए अफ्रीकी चीता (Cheetah) लाने की अनुमति दे दी है. अदालत ने कहा है कि वह अफ्रीकी चीतों को नामीबिया से भारत लाकर मध्यप्रदेश स्थित नौरादेही वन्यजीव अभयारण्य में बसाने की महत्वाकांक्षी परियोजना के विरुद्ध नहीं है. अदालत ने कहा कि बाघ-चीते के बीच टकराव के कोई साक्ष्य रिकार्ड में नहीं हैं.

उल्लेखनीय है कि देश में अब चीते नहीं बचे हैं. 1948 में सरगुजा के जंगल में अंतिम बार चीता देखा गया था. अब मोदी सरकार इस प्रजाति की पुनर्स्थापना की कोशिशों में लगी हुई है. वर्ष 2010 में केंद्र ने मध्य प्रदेश सरकार से चीता के लिए अभयारण्य तैयार करने के लिए कहा था. वन विभाग ने पहले चीता प्रोजेक्ट के लिए कुनो पालपुर अभयारण्य का प्रस्ताव दिया था, किन्तु शीर्ष अदालत ने ऐसा करने से रोक दिया. क्योंकि कुनो पालपुर अभयारण्य को एशियाटिक लॉयन (बब्बर शेर) हेतु तैयार किया गया है. इसके बाद विभाग ने नौरादेही को चीता के लिए तैयार करना आरंभ कर दिया.

भारतीय वन्यजीव संस्थान देहरादून ने इस परियोजना हेतु कुनो पालपुर और नौरादेही अभयारण्य को चुना था. दोनों ही अभ्यारण्यों में लंबे खुले घास के मैदान हैं. चीते को शिकार करने के लिए छोटे वन्यप्राणी और लंबे और खुले मैदान वाला इलाके चाहिए. उन्हें छिपने के लिए घास की आवश्यकता होती है. विभाग ने नौरादेही से दस गांव हटाकर यह जरुरत पूरी कर दी है.

राहुल गाँधी की रीलॉन्चिंग में जुटी कांग्रेस, जयपुर से शुरू करेगी ये बड़ा अभियान

Budget 2020: करदाताओं को राहत मिलने की गुंजाइश नहीं ! बेहद कम रह सकता है टैक्स कलेक्शन

अमित शाह की मौजूदगी में समाप्त हुई अलग बोडोलैंड की मांग, हुआ शांति का समझौता

 

रिलेटेड टॉपिक्स
- Sponsored Advert -
मध्य प्रदेश जनसम्पर्क न्यूज़ फीड  

हिंदी न्यूज़ -  https://mpinfo.org/RSSFeed/RSSFeed_News.xml  

इंग्लिश न्यूज़ -  https://mpinfo.org/RSSFeed/RSSFeed_EngNews.xml

फोटो -  https://mpinfo.org/RSSFeed/RSSFeed_Photo.xml

- Sponsored Advert -