कोलकाता : रेलमंत्री सुरेश प्रभु ने घटती माल ढुलाई पर चिंता जताई है। उन्होंने कहा है कि रेलवे आय बढ़ाने पर विचार कर रहा है, लेकिन माल ढुलाई में कमी से रेलवे को मुश्किल हो रही है। रेलवे को कुछ वस्तुओं का माल नहीं दिया जा रहा है जो इसकी आय को बढ़ा सकते हैं। दरअसल रेल मंत्री सुरेश प्रभु द्वारा भारत चैंबर आॅफ काॅमर्स की ओर से किए गए कार्यक्रम में भारतीय रेलवे को ढुलाई के लिए पर्याप्त माल नहीं मिल पाया है। ऐसे में भारतीय रेलवे को माल ढुलाई के लिए पर्याप्त माल नहीं मिल रहा है।
हालांकि रेलवे की क्षमता वार्षिक 1.2 अरब टन माल की ढुलाई की जा सकती है। रेलवे को इस तरह की मात्रा में माल ढोने के लिए मौके मिले तो रेलवे की आय बहुत अच्छी हो सकती है। पश्चिम बंगाल राज्य की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी को भी कहा गया है कि कोयले की ढुलाई की जा सकती है। मगर ढुलाई के लिए क्षमता के अनुसार उसे पूरा माल नहीं दिया जा रहा है। यही नहीं रेल मंत्री ने यह बात कही कि जब उन्हें कार्गो मिलता है तो हमें अधिक प्रसन्नता हो सकती है। यही नहीं आगामी सत्र में प्रमुखतौर पर आॅक्टोबर में प्रारंभ होता है। आॅक्टोबर के इस सत्र में डिमांड भी अधिक बढ़ती जाती है।
रेलवे को मेक इन इंडिया प्रोजेक्ट में शामिल किया गया है, यह इस कार्यक्रम का महत्वपूर्ण हिस्सा है। बजट में घोषित की गई योजनाओं में 79 योजनाओं को अमल में लाया जा चुका है। बीते 15 से 20 वर्ष के अंतर्गत रेलवे में मालवाहक क्षमता का विकास नहीं हुआ है। दिल्ली से हावड़ा जैसे मार्ग पर क्षमता से ज़्यादा काम हो चुका है। यही नहीं सरकारों द्वारा महाराष्ट्र ने आगामी 4 वर्ष में 10000 करोड़ रूपए का निवेश करने पर भी सहमति जताई।