नई दिल्ली : जापान की वित्तीय सेवा कंपनी नोमुरा के अनुसार नए नोटों को चलन में लाने और वैश्विक मांग में सुधार से चौथी तिमाही (अक्टूबर-दिसंबर) में भारत की आर्थिक वृद्धि दर मजबूत होगी और पहली तिमाही (जनवरी-मार्च) में इसकी गति तेज होगी. जीडीपी वृद्धि दर 2018 में करीब 7.5 प्रतिशत रहने का अनुमान जताया गया है.
उल्लेखनीय है कि नोमुरा ने एक शोध रिपोर्ट में वर्तमान परिदृश्य से उत्साहित होकर चालू वर्ष की चौथी तिमाही (अक्टूबर-दिसंबर) में 6.7 प्रतिशत और 2018 में मजबूत सुधार के साथ 7.5 प्रतिशत आर्थिक वृद्धि की उम्मीद जताई है. रिपोर्ट कहती है कि मुद्रास्फीति दबाव बढ़ने और तेल की ऊंची कीमत को देखते हुए मौद्रिक नीति को कड़ा किए जाने की संभावना है. 6 दिसंबर को मौद्रिक नीति समिति की बैठक में अधिकांश सदस्यों ने मुद्रास्फीति के बढ़ने के जोखिम की आशंका के कारण नीतिगत दर को यथावत रखा है .
बता दें कि नोमुरा की रिपोर्ट में 2018 की दूसरी तिमाही में मौद्रिक नीति समिति की ओर से थोड़ा आक्रामक रुख रखने की उम्मीद की गई है, क्योंकि उस समय वृद्धि और मुद्रास्फीति दोनों अधिक होगी, लेकिन 2018 में नीतिगत दर को यथावत रखने का अनुमान लगाया गया है.
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