खतरनाक ऐप्स की लिस्ट में शामिल हुआ क्रोम, आज ही करें डिलीट
खतरनाक ऐप्स की लिस्ट में शामिल हुआ क्रोम, आज ही करें डिलीट
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साइबर सिक्युरिटी फर्म चेकप्वाइंट ने एक रिपोर्ट वायरल की है, जिसमें प्ले स्टोर पर शामिल 10 सबसे पॉपुलर ऐप्स के उपयोग को खतरनाक बोला है. इसमें क्रोम से लेकर माइक्रोसॉफ्ट एज भी मौजूद हैं. रिपोर्ट में कहा गया है जिसके जरिए निजी डाटा सुरक्षित नहीं है. रिपोर्ट के अनुसार इन ऐप्स के माध्यम से हैकर्स दूसरे ऐप की जानकारी आपके फोन से चुरा सकते हैं. आपकी लॉगिन डीटेल, पासवर्ड, पैसों और बैंक खातों से जुड़ी सूचना को चोरी किया जा सकता है. जानिए उन 10 ऐप्स के बारे में जिनका उपयोग करना आपके लिए खतरनाक साबित हो रहा है.

गूगल क्रोम का पुराना वर्जन: साइबर सिक्युरिटी फर्म चेकप्वाइंट ने गूगल क्रोम के पुराने वर्जन को तुरंत अपडेट करने के लिए बोला है. थर्ड पार्टी सर्विस के माध्यम से हैकर फोन की कुकीज का उपयोग कर के फोन को हैक किये जा सकते हैं. ये सब गूगल क्रोम के पुराने ऐप के माध्यम से किया जाने वाला है. जिसके द्वारा पासवर्ड भी चुराया जा सकता है.

वाइबर और बुकिंग का पुराना वर्जन: वाइबर और बुकिंग के डेव्लपर्स ने कुछ दिन पहले ही चेतावनी जारी कर उपभोकता से बोला था कि वो सिक्योरिटी थ्रेट के चलते ऐप को जल्द से जल्द अपडेट कर लें.

ग्राइंडर: चेकप्वाइंट की रिपोर्ट के मुताबिक ग्राइंडर ऐप से भी डाटा लॉस का खतरा हो सकता है. उपभोक्ता के पासवर्ड, लॉगिन और फाइनेंनशियल सूचना को हैक कर सकते है.

बंबल: बंबल, टिंडर की ही तरह फ्रेंडशिप और डेटिंग ऐप है. जिसके डेवलपर्स ने ये जानकारी दी है कि अभी तक इस ऐप के कई इश्यू को अपडेट नहीं किया गया है.

ओके क्यूपिड: चेकप्वाइंट के मुताबिक डेटिंग ऐप ओके क्यूपिड भी सिक्योरिटी से जुड़ी ऐसी ही परेशानी से जूझ रहा है.

सिस्को टीम: रिपोर्ट के मुताबिक सिस्को टीम के एंड्रॉयड ऐप में भी सिक्योरिटी को लेकर थ्रेट है. उपभोक्ता को जिसके अपडेट हुए वर्जन को ही उपभोकता करने की सलाह दी जाती है.

यैंगो प्रो (टैक्सीमीटर): चेकप्वाइंट की रिपोर्ट के हिसाब से यैंगो प्रो ऐप में हर पर्मिशन के लिए एक्सेस है जिसके चलते इसके इस्तेमाल से खतरा बताया जा रहा है.

माइक्रोसॉफ्ट ऐज: एंड्रॉयड यूजर्स के लिए माइक्रोसॉफ्ट का ऐज ब्राउजर काफी समस्याएं ला सकता है. अभी तक माइक्रोसॉफ्ट ने ऐज ब्राउसर के लिए अपडेट जारी नहीं किया है. पुराने वर्जन में पासवर्ड और निजी जानकारी खोने का खतरा है.

एक्स रिकॉर्डर: चेकप्वाइंट की रिपोर्ट के हिसाब से एक्स रिकॉर्डर को ऐप की परेशानी के बारे में कहा दिया गया है मगर अभी तक इसको लेकर कोई भी अपडेट नहीं किया जाने वाला है. इस ऐप में भी सिक्योरिटी का इश्यू बताया जा रहा है.

पावर डायरेक्टर: रिपोर्ट के अनुसार पावर डारेक्टर में भी डाटा चोरी का वही खतरा है जो अन्य ऐप्स में बताया गया है.

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