World Heart Day : क्या आपका दिल रूक-रूककर धक धक कर रहा है
World Heart Day : क्या आपका दिल रूक-रूककर धक धक कर रहा है
Share:

यूं तो हिंदी सिनेमा के गीतकार अक्सर नायक और नायिका के दिल का हाल रखते हैं। अधिकांश गाने प्रेम से संबंधित होते हैं और उनमें दिल का जिक्र भी होता है। मगर आपके दिल का क्या क्या आपका दिल इस तरह के गीत सुनते या गाते ही धक-धक करेगा। कभी आज की जीवन शैली से ग्रस्त होकर आपका दिल जंक फूड्स से उपजी परेशानियों, अधिक कोलेस्ट्राॅल और अन्य परेशानियों से ग्रसित होगा। यदि आप चाहते हैं कि आप काफी अच्छा और लंबा जीयें तो फिर आपको आपके दिल का ख्याल र खना होगा।

जी हां, भारतीयों को लेकर अक्सर इस तरह की परेशानी देखने को मिलती है कि वे अपने दिल का ख्याल ही नहीं र खते हैं। भारतीय अपेक्षाकृत अधिक मोटे होते हैं। वे मसालेदार खाने, स्पाईसी भोजन के शौकीन होते हैं दूसरी ओर उनमें फिटनेस और एक्सरसाईज़ को लेकर भी जागरूकता नहीं रहती जिसके चलते उन्हें दिल की परेशानी से दौ - चार होना पड़ता है।

कैसे रखें अपने दिल का ख्याल

दरअसल दिल का ख्याल रखना बहुत जरूरी है। दिल की परेशानी एक गंभीर समस्या है। यदि आप आपके दिल का ख्याल नहीं रखते हैं तो फिर आपको हार्ट स्ट्रोक आदि परेशानियों का सामना करना पड़ सकता है। फिर हो सकता है पेस मेकर ही आपका सहारा हो। हार्ट अटैक को जानें दरअसल हार्ट अटैक को लेकर यह जानकारी सामने आई है कि दिल तक खून पहुंचाने वाली किसी एक या फिर एक से अधिक धमनियों में जमे वसा के थक्के के चलते रक्त ठीक से बह नहीं पाता है। ऐसे में रक्त के थक्के बन जाते हैं ये रक्त के थक्के जमने के बाद मांसपेशियों तक रक्त नहीं पहुंचता जिसके कारण आॅक्सीजन की कमी हो जाती है और फिर व्यक्ति हार्ट अटैक से ग्रसित हो जाता है।

लक्षण

हार्ट अटैक के प्रारंभिक लक्षणों के तहत सीने में बाईं ओर दर्द होता है। कई बार दर्द रूकरूककर भी होता है। कई बार यह दर्द गर्दन, जबड़े और कंधे व कमर में होता है। कई बार व्यक्ति को ऐसा लगता है जैसे उसकी नींद पूरी नहीं हुई है। बहुत बार सीने में जलन होने लगती है। उसकी स्कीन चिपचिपी हो जाती है। उसे उल्टी भी आ जाती है। मरीज को सांस लेने में परेशानी आती है।

क्या हैं उपचार

हार्ट अटैक का सबसे सही उपचार तो यह है कि आप चिकित्सक को दिखाऐं। इसके बाद उसकी सलाह के अनुसार दवाई लें या व्यायाम करें। यहां हम कुछ उपाय बता रहे हैं मगर ये उपाय किसी योग्य व्यक्ति या चिकित्सक की सलाह, परामर्श और देखरेख के बाद ही अपनाऐं। इन उपायों में पैदल चलना एक अच्छा उपाय है। मरीज अपनी क्षमता या यथाशक्ति वाॅक करे। वाॅक करते समय किसी से बात न करे मुंह बंद रखे और नाक से सामान्य श्वास ले तो उसे लाभ हो सकता है। यह वाॅक सुबह की ताजी हवा में किया जाए लेकिन ठंड के दिनों में अधिक ठंडक के समय वाॅक न करे और ऐसे में सर्द से बचने के लिए आवश्यक उपाय भी करे। ब्लड प्रेशर को नियमित तौर पर जांच करवाते रहे। ब्लड प्रेशर की तकलीफ होने पर चिकित्सक से जांच करवाऐं। नियमित तौर पर योग करें।

रिलेटेड टॉपिक्स
- Sponsored Advert -
मध्य प्रदेश जनसम्पर्क न्यूज़ फीड  

हिंदी न्यूज़ -  https://mpinfo.org/RSSFeed/RSSFeed_News.xml  

इंग्लिश न्यूज़ -  https://mpinfo.org/RSSFeed/RSSFeed_EngNews.xml

फोटो -  https://mpinfo.org/RSSFeed/RSSFeed_Photo.xml

- Sponsored Advert -