चीन के दावे पर भारत की दो टूक, कहा- 6 जून की सहमति को लागू करें दोनों देश

लेह: लद्दाख के गलवान घाटी को लेकर भारत और चीन के बीच तनाव की स्थिति लगातार बरक़रार है. चीनी विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता ने कल कहा था कि गलवान घाटी इलाके की संप्रभुता हमेशा चीन से जुड़ी रही है. इस पर विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अनुराग श्रीवास्तव ने कहा है कि दोनों पक्ष समग्र स्थिति को जिम्मेदार तरीके से संभालने के लिए राजी हुए हैं.

विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अनुराग श्रीवास्तव ने कहा कि जैसा कि हमने पहले ही बताया है कि आज (बुधवार) विदेश मंत्री डॉ. एस जयशंकर की चीन के स्टेट काउंसलर और विदेश मंत्री के बीच लद्दाख की मौजूदा स्थिति को लेकर फोन पर बातचीत हुई है. दोनों पक्षों ने इस बात पर भी सहमति प्रकट की है कि समग्र स्थिति को एक जिम्मेदार तरीके से संभाला जाना चाहिए. उन्होंने कहा कि सीनियर कमांडर्स के बीच 6 जून को बनी रजामंदी को दोनों देशों को ईमानदारी से लागू किया जाना चाहिए. अतिरंजित और अस्थिर दावे करना समझ के विरूद्ध है.

इससे पहले गलवान घाटी में वास्तविक नियंत्रण रेखा (LAC) पर भारत और चीन के सैनिकों के बीच हुए संघर्ष पर चीनी विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता झाओ लिजियन ने कल बुधवार को कहा था कि गलवान घाटी क्षेत्र की संप्रभुता हमेशा चीन से जुड़ी रही है. चीन नहीं चाहता है कि आगे किसी किस्म भी की तरह की झड़प हो.

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