भारत में पहली बार किया गया वीएआर का उपयोग

AFC वुमन एशियाई कप फुटबॉल टूर्नामेंट के क्वार्टर फाइनल मुकाबलों के बीच देश में पहली बार वीडियो सहायक रैफरी (वीएआर) तकनीक का उपयोग भी किया गया है। रविवार को खेले गए दो क्वार्टर फाइनल मुकाबलों में इसे लागू किया गया जिसमें दूसरे मैच में जिसका दो बार  इस्तेमाल भी किया जा चुका है. टूर्नामेंट से पहले ही इस बात का एलान कर दिया गया था कि टूर्नामेंट के नॉकआउट मुकाबलों के बीच वीएआर का इस्तेमाल किया जाने वाला है।

जापान और थाईलैंड के बीच क्वार्टर फाइनल मुकाबले के बीच इंडिया में पहली बार इस तकनीक का उपयोग भी किया जाने वाला है। जापान ने यह मुकाबला 7-0 से जीत लिया है। नवी मुंबई में खेले गए इस मुकाबले के बीच हालांकि कोई अहम् निर्णय फैसला करने के लिए VAR की आवश्यकता नहीं पड़ी। लेकिन उसी समय पुणे में खेले जा रहे मैच में वीएआर की भूमिका महत्वपूर्ण रही। 

दक्षिण कोरिया ने खिताब के दावेदार आस्ट्रेलिया को 1-0 से हराकर टूर्नामेंट का अब तक का संभवत: सबसे बड़ा उलटफेर भी कर दिया है। पहले हाफ में वीएआर के माध्यम से कोरिया को पेनल्टी मिली लेकिन चो सोह्युन इसे गोल में नहीं बदल पाया है। दूसरे हाफ में भी पेनल्टी से जुड़े मामले में VAR का सहारा लिया गया जब ऐसा लगा कि स्टेफ केटली को पेनल्टी बॉक्स के अंदर गिरा दिया है। इस बार हालांकि VR के जरिए पेनल्टी का संकेत अब तक नहीं दिया गया है। इस फैसले के कुछ देर बाद दक्षिण कोरिया की जी सो युन ने 87वें मिनट में विजयी गोल दागकर अपनी टीम को अंतिम 4 में स्थान दिलवा दिया है।

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