कांग्रेस शासित राजस्थान, कांग्रेस पार्षद मतलूब अहमद ने ही रची 'करौली हिंसा' की साजिश, पुलिस भी रही निष्क्रिय

जयपुर: राजस्थान के करौली में गुड़ी पाड़वा के अवसर पर हिंदुओं द्वारा निकाले गए जुलूस पर मुस्लिम बहुल इलाके में हमला किया गया था। इस हमले का मास्टरमाइंड कांग्रेस का पार्षद मतलूब अहमद बताया जा रहा है। वह फिलहाल फरार चल रहा है। इस बीच एक रिपोर्ट में दावा किया गया है कि जिस प्रकार के हथियारों से हिंदुओं के जुलूस पर हमला किया गया था, उसी तरह के हथियार कांग्रेस नेता मतलूब अहमद के घर से बरामद हुए हैं।

 

रिपोर्ट के अनुसार, हमले की साजिश के तहत, पहले ही घरों में हथियार जुटा लिए गए थे। इन हथियारों में पत्थर, लाठी और डंडे शामिल हैं। टाइम्स नाउ की रिपोर्ट के अनुसार, हिंसा के दौरान राजस्थान पुलिसकर्मियों ने हमलावरों को रोकने की कोई कोशिश नहीं की। अपने इन दावों की पुष्टि के लिए Times Now ने कुछ वीडियो का भी हवाला दिया है। इस पर करौली के पुलिस अधीक्षक ने कहा है कि, 'हम फुटेज की जाँच करेंगे और यदि कोई पुलिसकर्मी कर्तव्यों में लापरवाही बरतता पाया गया तो उसके खिलाफ कार्रवाई की जाएगी।'

इससे पहले एक रिपोर्ट में बताया गया था कि जिस इलाके में हिंदुओं पर पत्थर बरसाए गए वहाँ की मस्जिद, घरों की छतों पर पहले से ही भारी-भारी ईंट-पत्थर जमा कर रखे गए थे। हिंसा के बाद कर्फ्यू लागू कर दिया गया था। 7 अप्रैल (गुरुवार) को लोगों को आवश्यक सामान खरीदने के लिए सुबह 9 बजे से 11 बजे तक कर्फ्यू में रियायत दी गई।

क्या है करोली हिंसा का पूरा मामला ?

बता दें कि करौली में हिंदू नव वर्ष (गुड़ी पाड़वा) के जुलूस पर 2 अप्रैल 2022 (शनिवार) को हिंसा भड़क गई थी। इसके बाद उपद्रवियों ने कई  दुकानों में आग लगा दी थी। इस पूरे घटनाक्रम में पुष्पेंद्र नामक एक युवक गंभीर रूप से जख्मी हो गया था। उनके शरीर पर चाकू से हमले के निशान हैं। उपद्रवियों को काबू करते हुए पुलिस के 4 जवान भी जख्मी हुए थे। कुल 43 लोगों के घायल होने की सूचना मीडिया रिपोर्ट्स में आई थी। इसके बाद मामले में तहकीकात शुरू हुई और पॉपुलर फ्रंट ऑफ़ इंडिया (PFI) का एक पत्र सामने आया, जिसने इस हिंसा के सुनियोजित होने की तरफ संकेत किया। बाद में कांग्रेसी नेता मतबूल अहमद की भूमिका भी पूरी हिंसा में पाई गई। राजस्थान के गवर्नर कलराज मिश्र ने भी इस हिंसा को सुनियोजित करार दिया था। उन्होंने कहा था कि करौली हिंसा के दौरान जिस प्रकार से पथराव किया गया, उससे साबित होता है कि इसे सुनियोजित तरीके से अंजाम दिया गया और इसे रोका जा सकता था।

नेपाल की बैंक से सीरिया पैसे भेजता था, विदेशी सिम चलाता था.., गोरखनाथ मंदिर पर हमला करने वाले अब्बासी का कच्चा चिट्ठा

अब भारत में ही निर्मित किए जाएंगे 300 हथियार और रक्षा उपकरण, राजनाथ सिंह जारी करेंगे तीसरी सूची

समय से एक दिन पहले ही ख़त्म हो गया संसद का बजट सत्र, लोकसभा में 129 फीसद हुआ काम

 

Related News