20 साल पहले ली थी 210 रुपए की रिश्वत, अब ACB कोर्ट ने सुनाई बड़ी सजा

भरतपुर: राजस्थान के भरतपुर के ACB कोर्ट में एक दिलसचस्प मामला सामने आया है, जब 210 रुपए की रिश्वत लेने के आरोपी पटवारी को डेढ़ साल की सजा सुनाई गई, तो हर कोई दंग रह गया। हालांकि, रिश्वत एक रुपए की हो या लाख रुपए की, यह अपराध की श्रेणी में ही आती है, मगर यह मामला हैरान करने वाला है। विशिष्ट न्यायाधीश ACB कोर्ट रूपा गुप्ता ने भ्रष्टाचार के 20 वर्ष पुराने एक मामले में आरोपी पटवारी को डेढ़ साल की सजा और 25 हजार रुपए के जुर्माने से दण्डित किया है।

ACB कोर्ट के महेन्द्र अग्रे ने बताया है कि गांव बराखुर के रहने वाले उदय सिंह पुत्र अतर सिंह जाट ने 8 अक्टूबर 2002 में भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो कार्यालय में शिकायत दर्ज कराई थी। इसमें बताया था कि उसके पिता अतर सिंह, चाचा महेन्द्र सिंह व ताऊ छतर सिंह के तीन खातों की जमाबंदी की नकल चाहिए थी। इसको लेकर वह पांच अक्टूबर 2002 को हलका मडरपुर के पटवारी लोकेश से मिला। उसने तीन खातों की जमाबंदी नकल के लिए एक आवेदन दिया। इस पर पटवारी लोकेश ने तीन खातों की दो-दो नकल देने के लिए उससे 270 रुपए बतौर रिश्वत देने के लिए कहा। इस पर पीड़ित ने कहा कि दो-दो नकल की फीस 60 रुपए होती है। लेकिन पटवारी ने कहा कि वह प्रति नकल की 45 रुपए के हिसाब से 270 रुपए लेगा।

इस शिकायत पर ACB ने सत्यापन कराया जिसमें शिकायत सही पाई गई। ACB ने बाद में आरोपी पटवारी लोकेश को 210 रुपए लेते रंगे हाथ दबोच लिया। अदालत ने मामले में आरोपी पटवारी लोकेश को एक साल छह महीने की सजा और 25 हजार रुपए के जुर्माने से दण्डित किया है।

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