राम माधव का खुलासा, गठबंधन को पहला झटका तभी लगा था.....

जम्मू कश्मीर में बीजेपी और पीडीपी का गठबंधन तोड़ने का एलान करने वाले बीजेपी प्रभारी राम माधव का कहना है कि घाटी में जारी हिंसा को लेकर पीडीपी के नरम रवैये के कारण उनकी पार्टी ने गठबंधन तोड़ने का फैसला किया. कश्मीत में फ़िलहाल राज्यपाल शासन लगा दिया गया है. बुधवार को उन्होंने कहा कि गठबंधन को पहला झटका तभी लग गया था जब 2016 में महबूबा मुफ्ती के पिता और तत्कालीन मुख्यमंत्री मुफ्ती मोहम्मद सईद का निधन हुआ था.

गठबंधन को राजनीतिक मजबूरी बताते हुए राम माधव ने कहा, "यह एक ऐतिहासिक गठबंधन था. हम राजनीतिक छुआछूत में विश्वास नहीं करते हैं. मैं मानता हूं कि ये उस समय की मजबूरी थी. मुफ्ती ने उस समय कहा था कि ये नॉर्थ और साउथ पोल के एकसाथ आने जैसा है. हमने गठबंधन को बचाने की पूरी कोशिश की, लेकिन कुछ गठबंधन काम करते हैं कुछ नहीं." पत्रकार शुजात बुखारी का ज़िक्र करते हुए उन्होंने कहा कि पुलिस के जवान और पत्रकार मारे जा रहे हैं लेकिन महबूबा मुफ्ती ने नरम रवैया अपना रखा है जो कि स्वीकार नहीं किया जा सकता. उन्होंने कहा कि घाटी में शांति बहाली के लिए महबूबा ने कुछ भी खास काम नहीं किया.

राम माधव ने कहा, "गठबंधन तोड़ना मौकापरस्त फैसला नहीं था. स्थिति ऐसी हो गई थी साथ में बने रहना मुश्किल हो गया था. घाटी में लगातार हमले हो रहे थे. हम परिस्थितियों पर पूरी तरह से नियंत्रण करना चाहते थे."

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