मराठों को आरक्षण देने का बहाना बना रही ठाकरे सरकार- देवेंद्र फडणवीस

मुंबई: महाराष्ट्र की राजधानी मुंबई में बीजेपी के सीनियर नेता देवेंद्र फडणवीस ने बीते गुरुवार को यह दावा किया है कि, 'शिवसेना नीत महा विकास आघाडी सरकार का मराठाओं को आरक्षण देने का कोई इरादा नहीं है।' आप सभी जानते ही होंगे कि हाई कोर्ट ने इस संबंध में 2018 में लाए गए कानून को निरस्त कर दिया था। जी दरअसल विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष ने लोक निर्माण कार्य मंत्री अशोक चव्हाण को इस मुद्दे पर हाल ही में उनके बयान को लेकर निशाने पर लिया गया।

बीते बुधवार को उन्होंने केंद्रीय मंत्रिपरिषद के फैसले पर प्रतिक्रिया देते हुए यह कहा था कि, 'राज्यों और केंद्र शासित क्षेत्रों को अपनी ओबीसी लिस्ट बनाने की शक्ति देने से मराठा आरक्षण का रास्ता साफ नहीं होता।' वहीं दूसरी तरफ चव्हाण मराठा आरक्षण पर मंत्रिमंडलीय उप समिति के अध्यक्ष भी हैं।

ऐसे में देवेंद्र फडणवीस ने मीडिया से बात करते हुए कहा, 'मुझे खबरों से पता चला है कि केंद्रीय मंत्रिपरिषद ने किसी भी समुदाय को पिछड़ा घोषित करने का अधिकार देने के लिए एक प्रस्ताव को मंजूरी दी है। हालांकि, मैं यह साफ करना चाहता हूं कि अशोक चव्हाण और महा विकास आघाडी सरकार का मराठा समुदाय को आरक्षण देने का कोई इरादा नहीं है।' इसके अलावा बीजेपी नेता ने यह भी कहा कि, 'चव्हाण केंद्र सरकार से आरक्षण की 50 प्रतिशत सीमा शिथिल करने की मांग कर रहे है। इससे पहले वे कांग्रेस और यूपीए के 22 दलों के बीच आम संशोधन राय बनाए। चव्हाण और कांग्रेस के सहयोगियों को मालूम है कि संविधान के ढांचे के विरोध में जाकर केंद्र सरकार संविधान संशोधन नहीं कर सकती। प्रदेश सरकार को पहले मराठा समाज को पिछड़ा घोषित करना पडे़गा।'

वहीं आगे महाराष्ट्र के गवर्नर भगत सिंह कोश्यारी के मराठवाड़ा दौरे को लेकर राज्य सरकार के मंत्रियों के सवालों पर देवेंद्र फडनवीस ने कहा, 'संविधान के मुताबिक गवर्नर को दौरे का अधिकार है। इसलिए जिन लोगों को संविधान की समझ नहीं है। ऐसे लोग गवर्नर के दौरे पर सवाल उठ रहे है। गवर्नर को दौरा करने से सवाल उठा रहे है।'

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