नई दिल्ली: पाकिस्तान और भारत की जेलों में कैद भारतीय नागरिकों और मछुआरों के परिजनों को उनके रिहा होने की आस एक बार जागने लगी है. दरअसल, नए साल के मौके पर दोनों देशों ने एक दूसरे को ऐसे नागरिक कैदियों और मछुआरों की लिस्ट सौंपी हैं, जो एक दूसरे देशों की जेलों में कैद हैं और उनके परिजन उनकी रिहाई का लंबे समय से प्रतीक्षा कर रहे हैं.
भारतीय विदेश मंत्रालय के अनुसार, पाकिस्तान ने शनिवार को भारत को 51 नागरिक कैदियों और 577 मछुआरों की फेहरिस्त सौंपी हैं. यह सभी भारतीय हैं और पाकिस्तान की जेलों में कैद हैं. इसी प्रकार भारत ने 282 पाकिस्तानी नागरिक कैदियों और 73 मछुआरों की लिस्ट दी है. यह सभी पाकिस्तानी हैं और भारतीय जेलों में कैद हैं. भारत और पाकिस्तान के बीच एक दूसरे की जेलों में कैद लोगों और मछुआरों के बारे में जानकारी साझा करने के लिए 2008 में एक समझौता किया गया था, जिसके तहत वर्ष में दो बार दोनों देश एक दूसरे को ऐसी सूची सौंपते हैं. विदेश मंत्रालय के मुताबिक, हर साल एक जनवरी और एक जुलाई को दोनों देश नागरिक कैदियों और मछुआरों की फेहरिस्त एक दूसरे को सौंपते हैं.
नए साल के मौके पर शनिवार को भारत और पाकिस्तान ने दिल्ली और इस्लामाबाद में एक साथ राजनयिक चैनलों के जरिए नागरिक कैदियों और मछुआरों की फेहरिस्त का आदान-प्रदान किया है. विदेश मंत्रालय ने जानकारी दी है कि सूची में जिन भी नागरिक कैदियों और मछुआरों के नाम हैं, वह सभी भारतीय हैं और या तो उन्हें भारतीय माना जाता है.
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