बांग्लादेश: बांग्लादेश में कट्टरपंथी संगठन जमात-ए-इस्लामी के प्रमुख मोतिउर रहमान निजामी को जल्द फांसी देने की तैयारिया की जा रही है। निजामी 1971 में पाकिस्तान के खिलाफ मुक्ति संग्राम के दौरान युद्ध अपराध के दोषी हैं।
अधिकारियों ने बुधवार को 72 वर्षीय निजामी को फांसी देने का आदेश दिया। उच्च सुरक्षा वाले उपनगरीय काशिमपुरा जेल के एक अधिकारी ने बताया, हमें बुधवार सुबह फांसी का आदेश मिला।
अटॉर्नी जनरल महबूबी आलम ने बताया कि फांसी का आदेश जारी होने के बाद सजा से बचने के आखिरी प्रयास के तहत निजामी 15 दिन के भीतर सुप्रीम कोर्ट से फैसले पर पुनर्विचार की मांग कर सकता है। हालांकि i मामले में फैसले पर पुनर्विचार की गुंजाइश बहुत कम होती है। बांग्लादेश के सुप्रीम कोर्ट ने निजामी की मौत की सजा को बरकरार रखने को कहा हैं | लेकिन निजामी सुप्रीम कोर्ट में पुर्नविचार याचिका खारिज होने की स्थिति में निजामी राष्ट्रपति से क्षमादान की मांग कर सकते हैं, लेकिन इसके लिए उन्हें अतिरिक्त समय नहीं दिया जाएगा।
वहीं निजामी के वकीलों ने पुनर्विचार याचिका दाखिल करने के संबंध में निजामी से मिलने की मांग की है।
बता दें कि बांग्लादेश के अंतरराष्ट्रीय अपराध न्यायाधिकरण (आईसीटीबीडी) ने निजामी को 29 अक्तूबर 2014 को मत्युदंड की सजा सुनाई थी। इसी साल छह जनवरी को सुप्रीम कोर्ट ने भी उनकी यह सजा बरकरार रखी थी।