बिलासपुर/रायपुर: तीन विधायकों को ट्रेन में सेकंड एसी में बर्थ नहीं मिली तो तीनों विधायक ट्रेन में फर्श पर बिस्तर बिछाकर सो गए. सुबह रायपुर पहुंचे और मीडिया को यह जानकारी दी तो बवाल मच गया. विधायकों ने रेलवे पर आरोप लगाया कि उनके कोटे की सीटें किसी और को बेच दी.
बता दें कि सरगुजा विकास प्राधिकरण की बैठक में शामिल होने के लिए अंबिकापुर से रायपुर आ रहे तीनों विधायक कांग्रेस से जुड़े हैं. रामानुजगंज विधायक वृहस्पति सिंह, सामरी विधायक प्रीतम राम और भटगांव विधायक पारस राजवाड़े को ट्रेन में सेकंड एसी में बर्थ नहीं मिली थी|
इसके बाद रेलवे जोन ने दोपहर में ही दस्तावेजों के जरिए साफ कर दिया कि विधायक रेलवे नियमों में वीआईपी श्रेणी में नहीं हैं. रेलवे बोर्ड ने 21 जुलाई 2015 को वीआईपी सीटों के आवंटन नियम में संशोधन कर विधायकों को वीआईपी श्रेणी से हटा दिया है. हालांकि अफसरों ने यह भी साफ किया कि जब विधायकों ने टिकट लिए, वीआईपी कोटे की सभी सीटें अलाट की जा चुकी थीं|
वृहस्पति सिंह ने दावा किया कि सीसीएम और डीआरएम को टिकट कंफर्म करने के लिए मैसेज किया गया था.विधायको से जुड़ा मामला था इसलिए जोन अफसरों ने तुरंत संज्ञान लिया. ट्रेन में तैनात टीटीई और अंबिकापुर स्टेशन मास्टर से पूरे मामले का ब्योरा लिया गया. अफसरों ने यह भी बताया कि विधायकों ने मीडिया में यह आरोप जरूर लगाया है, लेकिन जोन दफ्तर में लिखित शिकायत नहीं की है|