सीतामढ़ी गोलीकांड: विधायक और पूर्व सांसद समेत 15  को दस दस साल की सजा
सीतामढ़ी गोलीकांड: विधायक और पूर्व सांसद समेत 15 को दस दस साल की सजा
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चर्चित सीतामढ़ी कलेक्ट्रेट गोलीकांड में परिहार के भाजपा विधायक रामनरेश प्रसाद यादव और दो पूर्व सांसदों नवल किशोर राय व मो. अनवारूल हक सहित 15 लोगों को गुरुवार को 10-10 साल की सजा सुनायी गयी। तदर्थ प्रथम अपर सत्र न्यायाधीश मो. इरशाद अली ने मामले में फैसला सुनाते हुए अलग-अलग धाराओं में जुर्माना भी लगाया। मालूम हो कि 2 जून को सुनवाई के बाद प्रथम अपर सत्र न्यायाधीश ने सभी 15 लोगों को दोषी करार दिया था। सजा के बिन्दु पर आज सुनवाई हुई।

सजा सुनाने के तुरंत बाद सभी को मुजफ्फरपुर सेंट्रल जेल भेज दिया गया। बचाव पक्ष के अधिवक्ताओं आनंद कुमार झा व अखिलेश्वर प्रसाद ने दोनों पूर्व सांसदों की बीमारी का हवाला दिया और भाजपा विधायक का कांड की एफआईआर में नाम नहीं होने की बात कही। साथ ही अभियुक्तों को कम के कम सजा देने का अनुरोध किया। वहीं, अन्य अभियुक्तों की ओर से अधिवक्ता ओशाक अहमद व विमल कुमार शुक्ला ने बहस में भाग लिया।

किस धारा में कितनी सजा :

न्यायालय सूत्रों के मुताबिक धारा 323 के तहत एक वर्ष की सजा व एक हजार रुपये जुर्माना लगाया गया है। जुर्माना नहीं देने पर दो सप्ताह अतरिक्त सजा भुगतनी होगी। धारा 324 के तहत तीन वर्ष की सजा और दो हजार रुपये जुर्माना लगा। जुर्माना नहीं देने पर तीन सप्ताह अतिरिक्त सजा भुगतनी होगी। धारा 333 में सात वर्ष की सजा व दस हजार रुपये जुर्माना लगा। जुर्माना नहीं चुकाने पर तीन माह की सजा बढ़ेगी। धारा 307/149 के तहत दस वर्ष की सजा और 25 हजार रुपये जुर्माना लगा। जुर्माना नहीं देने पर छह माह अधिरिक्त सजा भुगतनी होगी। धारा 334 में छह माह की सजा के साथ 500 रुपये जुर्माना लगा। जुर्माना नहीं देने पर सजा की अवधि एक सप्ताह और बढ़ेगी। जबकि धारा 353 के तहत कोई सजा नहीं दी गयी है। एक अभियुक्त पूर्व सांसद के बॉडीगार्ड सूर्यदेव राय पर 27 आम्र्स एक्ट में पांच वर्ष का सश्रम कारावास व पांच हजार जुर्माना लगाया गया है। जुर्माना नहीं देने पर दो माह की अवधि और बढ़ जाएगी। सभी सजाएं साथ-साथ चलेंगी। अभियोजन की पक्ष की ओर से अधिवक्ता एनके सिन्हा ने बहस में भाग लिया।

इन लोगों को मिली सजा :

पूर्व सांसद नवल किशोर राय व मो.अनवारूल हक, परिहार के भाजपा विधायक रामनरेश प्रसाद यादव, राजद के प्रदेश महासचिव मनोज कुमार, रालोसपा के जिलाध्यक्ष रामलक्षण सिंह कुशवाहा, शिवहर के कांगे्रस जिलाध्यक्ष मो. असद, युवा शक्ति नेता कौशल किशोर यादव, सीपीएम नेता मदन राय, पूर्व मुखिया महेन्द्र यादव, विपिन बिहारी यादव, विश्वनाथ बुंदेला, अनिल कुमार सिंह उर्फ चुम्मन, पूर्व जदयू जिलाध्यक्ष व रालोसपा नेता मोहन कुमार सिंह, विनोद प्रसाद और पूर्व सांसद के बॉडीगार्ड सूर्यदेव राय शामिल हैं।

मामला :

11 अगस्त 1998 को जनता दल और सीपीएम की ओर से सीतामढ़ी कलेक्ट्रेट के सामने बाढ़ राहत को लेकर धरना-प्रदर्शन चल रहा था। अचानक प्रदर्शनकारी उग्र हो गये और कलेक्ट्रेट की चहारदीवारी पर चढ़कर रोड़ेबाजी करने लगे। स्थिति बेकाबू होते देख तत्कालीन डीएम रामनंदन प्रसाद ने के निर्देश पर पहले लाठी चार्ज और बाद में फायरिंग की गई। फायरिंग में एक पूर्व विधायक सहित पांच लोगों की मौत हो गई। रोड़ेबाजी में डीएम व एसपी घायल हो गए थे। मामले को लेकर डुमरा थाने में एफआईआर दर्ज की गयी थी।

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