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हैदराबाद : हैदराबाद की एक अदालत ने सोमवार को सत्यम घोटाले के मुख्य आरोपी बी.रामलिंगा राजू और अन्य द्वारा विशेष अदालत के फैसले को दी गई चुनौती से संबंधित याचिका खारिज कर दी। विशेष अदालत ने करोड़ों रुपये के इस घोटाले में इन सभी को सात साल कारावास की सजा सुनाई थी। महानगर सत्र अदालत ने कहा कि यह अपील विचारणीय नहीं है और इसे खारिज कर दिया।
अदालत ने कहा कि विशेष अदालत के कार्य क्षेत्र में दखल नहीं दिया जा सकता।
न्यायाधीश ने 15 अप्रैल को याचिका पर फैसला सुरक्षित रखा था और आज इसकी घोषणा की।
आरोपियों ने विशेष अदालत के फैसले को चुनौती दी थी और कहा था कि बचाव पक्ष की दलील पर विचार नहीं किया गया, लिहाजा यह सजा कानूनी रूप से वहनीय नहीं है। उन्होंने जमानत की भी मांग की थी।
रामलिंगा राजू और अन्य विशेष अदालत के फैसले को हैदराबाद उच्च न्यायालय में चुनौती दे सकते हैं।
सत्यम कंप्यूटर सर्विसिस लिमिटेड के पूर्व प्रमुख रहे रामलिंगा राजू और उनके दो भाइयों तथा सात अन्य को बही-खाते के अब तक के सबसे बड़े घोटाले में दोषी पाया गया था। यह मामला 2009 में सामने आया था।
विशेष अदालत ने नौ अप्रैल को उन्हें सात साल सश्रम कारावास की सजा सुनाई थी। अदालत ने रामलिंगा राजू और उनके एक भाई रामा राजू के खिलाफ 5.5 करोड़ रुपये का जुर्माना भी लगाया था।
सभी दोषी नौ अप्रैल से हैदराबाद स्थित चेर्लापल्ली केंद्रीय कारागार में कैद हैं।