जयपुर : उरी स्थित सेना के मुख्यालय में आतंकी हमले में शहीद हुये सैनिकों के प्रति हमारे राजनेता कितनी संवेदनशीलता रखते है, इसका उदाहरण राजस्थान में सामने आया है। राजस्थान के राजसमंद में रहने वाले सैनिक निंबसिंह भी हमले में शहीद हो गये थे लेकिन उनके अंतिम संस्कार में मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे को जाने के लिये समय तक नही मिला।
जब यह मामला मीडिया में उछला तो उच्च शिक्षा मंत्री कालीचरण सराफ ने यह बयान दे दिया कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सचिन पायलट के पास कोई काम नहीं है और वे फ्री है, इसलिये अंतिम संस्कार में वे हिस्सा लेने चले गये, लेकिन मुख्यमंत्री के कुछ कार्यक्रम पहले से ही तय थे, अतः वे शहीद के अंतिम संस्कार में नहीं जा सकी।
सराफ के इस बयान से विवाद खड़ा हो गया है। हालांकि यह बात अलग है कि मुख्यमंत्री राजे के स्थान पर सरकार ने वरिष्ठ मंत्री किरण माहेश्वरी को शहीद सैनिक के अंतिम संस्कार में भेजा था। लेकिन जिस तरह से राज्य के मंत्री सराफ ने शहीद को लेकर बयान दिया है, उससे यह साफ हो जाता है कि सरकार या उसके मंत्री शहीद के प्रति कितना सम्मान रखते है। गौरतलब है कि शहीद सिंह के अंतिम संस्कार में राजेश पायलट शामिल होने गये थे।