नोट बेन के बाद भी नकली करंसी की समस्या बरक़रार
नोट बेन के बाद भी नकली करंसी की समस्या बरक़रार
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नोट बेन किये जाने का एक कारण नकली नोटों का अस्तित्व ख़त्म करना बताया जा रहा था, 1000 और 500 के बड़े नोटों के कारण काला धन आसानी से जमा किया जा रहा था और यही धन आतंकवाद में भी काम आता था, किन्तु खबर आई है की 1000 के नोट बंद कर 2000 के नोट चलन में लाये गए, किन्तु 2000 के नकली नोट भी पाकिस्तान बॉर्डर से पकड़ाए जा रहे है.

2000 के नकली नोटों के खेप पकड़ाए जाने के कारण सुरक्षा और ख़ुफ़िया एजेंसियों की नींद उड़ गई है. इसलिए बॉर्डर सिक्योरिटी फोर्स रिज़र्व बैंक ऑफ़ इंडिया से जवानों की ट्रेनिंग के लिए बातचीत कर रहा है, ताकि भारत-बांग्लादेश बॉर्डर पर पकड़ाए जाने वाले नकली नोटों की तस्करी पर लगाम कसी जा सके.

वरिष्ठ बीएसएफ अधिकारी ने नाम न छापने की शर्त पर बतायाहै की 2000 के नकली नोट अधिक संख्या में पकड़ाए जाना चिंता का विषय है, इन नकली नोट में आधे से अधिक सिक्योरिटी फीचर्स की कॉपी हो चुकी है, इसलिए आरबीआई से जवानों और अधिकारियो की 2000 के नोटों की पहचान की ट्रेनिंग की बात की जा रही है. एक अन्य बीएसएफ अधिकारी ने बताया की नोट बेन के कारण नकली नोटों पर लगाम लग गई थी मगर 2000 के नोट आने से दोबारा नकली नोटों के आने की समस्या बढ़ गई है.

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