झांसी: प्राणवायु के मामले में बुंदेलखंड शीघ्र ही आत्मनिर्भर बनेगा. झांसी के गोरामछिया में प्राणवायु उत्पादन के लिए प्लांट लगेगा. यहां से एक हजार सिलिंडरों के समान गैस की रोजाना सप्लाई होगी. तत्पश्चात, बुंदेलखंड को 50 फीसदी ऑक्सीजन की सप्लाई यहीं से हो सकेगी. प्लांट आरम्भ करने के लिए दस दिनों के भीतर लाइसेंस जारी होने की आशंका है. वही झांसी में ज्यादातर एमपी से प्राणवायु की सप्लाई होती है.
वही COVID-19 वायरस के समय में एमपी में भी मामले बढ़ने के कारण वहां खपत बढ़ गई है. इस वजह से झांसी में मांग के मुताबिक आपूर्ति नहीं हो पा रही है. क्योकि मेडिकल कॉलेज में कोरोना में सीरियस मरीज एडमिट हो रहे हैं. ऐसे में सरकारी हॉस्पिटलों को अधिकतर प्राणवायु की आपूर्ति हो रही है. प्राइवेट हॉस्पिटल सहित एंबुलेंसों को बमुश्किल ऑक्सीजन प्राप्त हो पा रही है. वही औषधि प्रशासन डिपार्टमेंट ने ऑक्सीजन सप्लायरों से बात करनी आरम्भ की है.
डिपार्टमेंट ने प्लांट की स्थापना के लिए संभावना खोजी. तत्पश्चात, एक सप्लायर गोरामछिया में प्लांट आरम्भ करने के लिए तैयार हो गया है. उसने प्लांट के लाइसेंस के लिए अप्लाई कर दिया है. दस दिनों में लाइसेंस जारी होने की आशंका है. बताया गया कि इस प्लांट से 1000 गैस सिलिंडरों के समान प्राणवायु की सप्लाई हो सकती है. इस प्लांट से झांसी की प्राणवायु को लेकर बुंदेलखंड पर निर्भरता बहुत कम हो जाएगी. साथ-साथ पूरे बुंदेलखंड को प्राणवायु की झांसी से ही आपूर्ति की जा सकेगी. इसी के साथ यूपी में काफी सुविधा मिल पाएगी.
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