Apr 09 2016 12:14 PM
चंडीगढ़ : दरअसल चंडीगढ़ में दुष्कर्म का एक ऐसा मामला सामने आया है जिसमें एक लड़की और लड़के के बीच शारीरिक संबंध आपसी सहमति से बने थे। इस मामले की सुनवाई के दौरान पंजाब और हरियाणा के उच्च न्यायालय ने यह स्पष्ट कर दिया है कि यदि 16 वर्ष से कम आयु की लड़की के साथ यदि संबंध बनाए गए तो वे दुष्कर्म की श्रेणी में माना जाएगा। न्यायमूर्ति अनीता चौधरी ने इस मामले में कहा कि नाबालिग लड़की को शारीरिक संबंध बनाने के लिए झांसा देकर तैयार किया जा सकता है।
16 वर्ष से कम आयु की लड़की बिना कोई निर्णय माने संबंधों की सहमति दे सकती है। दरअसल तथाकथित सहमति के नाम पर किसी को भी इसका गलत लाभ नहीं उठाना चाहिए। दरअसल इस मामले में यह दावा किया गया था कि पीडि़ता के साथ उसके संबंध सहमति के आधार पर बने थे।
इस हेतु उसे सजा नहीं हुई थी। आरोपी द्वारा 22 जनवरी 2010 को पीडि़ता का अपहरण किया गया था। दरअसल लड़की ने कहा कि घटना का आरोपी मिस्त्री है। जो कि पीडि़ता के घर में काम करता था। यह पहले से ही शादीशुदा थी और उसके दो बच्चे भी थे।
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