प्राकृतिक आपदाएं कभी बता कर नहीं आती, और इन आपदाओं पर किसी का जोर नहीं है. इन प्राकृतिक आपदाओं से बहुत हानि होती है वहीँ कई लोगों की जान भी चली जाती है. इसी तरह तमिलनाडु और केरल को एक प्राकृतिक आपदा ने अपनी चपेट में ले रखा है. इस आपदा का नाम है 'ओखी'. जी हाँ, ओखी नाम का यह चक्रवात दक्षिणी जिलों में तबाही का सबब बना हुआ है. ओखी के चलते हो रही मूसलाधार बारिश से तमिलनाडु और केरल समेत दक्षिण के कई जिले तर-बतर हो गए हैं और आम जन-जीवन अस्त-व्यस्त हो गया है.
इस चक्रवात के कहर से अभी तक 8 लोग अपनी जान गवां बैठे हैं और लगभग 90 मछुआरे लापता बातये जा रहे हैं. राज्य सरकार इस आपदा से निपटने के लिए जद्दोजहद कर रही हैं और राज्य में आधिकारिक मशीनरी को हाई अलर्ट कर दिया है. अभी यह चक्रवात कन्याकुमारी से 60 किमी. दक्षिण में है इससे अगले 24 घंटो में भारी बारिश का अनुमान लगाया गया है. मौसम विभाग की जानकारी के मुताबिक़ यह चक्रवात लक्षद्वीप की ओर बढ़ सकता है.
अभी इस चक्रवात के चलते 65 से 75 किमी प्रति घंटे की गति से हवाएं चल रही हैं जो कि अगले 48 घंटे में 85 किमी. प्रति घंटे होने की संभावना है. हाई अलर्ट के चलते मछुआरों को आगाह किया गया है कि अगले 24 घंटे समुद्र तट से दूर रहें. वहीँ आपदा प्रबंधन बल की टीम लगातार राहत कार्य में लगी हुई हैं और निचले इलाके के लोगों को रहत केन्द्रो में पंहुचा रही हैं. हालत का जायजा लेने के बाद राज्य के मुख्यमंत्री पलानीस्वामी ने वरिष्ठ अधिकारियों को निगरानी और राहत कार्य के निर्देश दिए हैं. इसके अलावा राज्य सरकार ने केंद्र से नौसेना और वायुसेना की मदद मांगी है.
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