इस्लामाबाद : दिसबंर 2008 में मुंबई की ताज होटल में हुए हमले के मुख्य षडयंत्रकर्ता लश्करे तैयाबा था। आज भारत सरकार और पाकिस्तान सरकार भी जानतीं है। पर फिर भी अभी तक इस मामले के परिणाम सामने नही आ सके। आपको बता दे कि मुंबई हमले के सात आतंकवादियों के खिलाफ इस्लामाबाद की आतंकवाद निरोधक अदालत सुनवाई कर रही है। और इन सात आरोपियों में लश्कर भी शामिल है। और मंगलवार को हुई सुनवाई मे अदालत ने कहा कि मामले से जुड़ी सभी वस्तुओं को अदालत के सामने प्रस्तुत किया जाए। और सभी 24 भारतीय गवाहों को अदालत के सामने पेश करने कि बात की। ताकि हम सभी गवाहों के बयान दर्ज कर सके।
सूत्रो के मुताबिकः
अदालत ने सुनवाई करते हुये निर्देश दिये कि अजमल कसाब द्वारा यूज की गई नावों को पाकिस्तान लाया जाए। ताकि मामले की जांच तरीके से की जा सके। सुत्रों से ज्ञात हुआ है कि, गृहमंत्रालय इस मामले से संबंधित एक पत्र विदेश मंत्रलाय को भी जल्द ही भेज सकता है।
अदालत का विलंम्बः
अदालत विलंम्ब करने के लिये ही 24 भारतीय गवाहों को बुला रही ताकि मामले की सुनवाई में और समय लग सके। इसके आलवा अदालत ब्यान के आधार पर ही केस की सुनवाई की सकती हैं। पर जबरजस्ती ही वह अजमल द्वारा इस्तेमाल की गई नाव को पाकिस्तान में लाने की बात कर रही है। इन सब बातों से साफ स्पष्ट हो रहा है कि पाकिस्तान ही इस मामले को सुलझाना नही चाहता है।