नई दिल्ली: सरकारी नौकरियों और शैक्षणिक संस्थानों में सवर्ण समुदाय के गरीब लोगों को 10 प्रतिशत आरक्षण देने के बाद, अब केंद्र कि मोदी सरकार देश के गरीब और किसानों के लिए बड़े स्तर पर योजनाओं का पिटारा खोलने पर मंथन कर रही है. 2019 के लोकसभा चुनावों के चलते सरकार बीपीएल श्रेणी के नागरिकों को 'यूनिवर्सल बेसिक इनकम' (UBI) के माध्यम से एक निश्चित धनराशि सीधे उनके खाते में डालने पर विचार कर रही है.
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इसके साथ ही किसानों को भी सीधा फायदा पहुंचाने के लिए डायरेक्ट इंवेस्टमेंट सपोर्ट सिस्टम की योजना को अमल में लाया जा सकता है. गौरतलब है कि यूबीआई के अन्तर्गत सरकार देश के हर नागरिक को बिना किसी शर्त एक निश्चित रकम उपलब्ध कराती है, इसका मकसद गरीबी रेखा के नीचे जीवन यापन कर रहे लोगों को बारबरी की श्रेणी में लाना होता है. यूबीआई योजना का सुझाव प्रथम बार लंदन यूनिवर्सिटी के प्रोफेसर गाय स्टैंडिंग ने दिया था.
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सूत्रों के अनुसार केंद्र की मोदी सरकार गरीबी रेखा से नीचे जीवन यापन करने वाले लोगों के लिए यूबीआई के अंतर्गत 2,500 रुपये प्रति माह देने की घोषणा कर सकती है. बीपीएल श्रेणी के लोगों को मिलने वाली सभी सब्सिडी जिनमें एलपीजी, खाने-पीने की चीजें और दूसरे संसाधन भी शामिल हैं, उन्हें समाप्त करके इनकी पूरी रकम खाते में डाल दी जाएगी. जानकारी के अनुसार, यूबीआई के द्वारा मिलने वाली इस रकम से एक परिवार के पांच सदस्यों का पोषण संबंधी आवश्यकताओं को पूरा किया जाएगा.
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