स्टूडेंट एक भी नहीं और शिक्षक चार, ऐसा है यह स्कूल
स्टूडेंट एक भी नहीं और शिक्षक चार, ऐसा है यह स्कूल
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भोपाल : मध्य प्रदेश के पर्यटन विभाग के अपने विज्ञापन में स्लोगन दिया है- एमपी में दिल हो बच्चा सा....। लेकिन इसी एमपी में एक स्कूल ऐसा भी है, जहां बच्चे ही नहीं है और टीचर चार है। सामान्यतः सरकारी स्कूलों से बच्चों के नदारद रहने की खबरें आती है, लेकिन यहां मामला जरा उल्टा है, शिक्षक रोजाना हाजिरी लगाते है पर बच्चे एक भी नहीं है।

मामला इंदौर का है, जहां के नॉर्थ राज मोहल्ला स्थित शास्कीय प्राथमिक विद्यालय क्रमांक 52 में एक भी स्टूडेंट नहीं है। पहले यहां 8 बच्चे थे, जो पास होकर मिडिल स्कूल चले गए। पुराने बच्चे नई क्लास में चले गए, लेकिन इसके बाद कोई नया बच्चा नहीं आया। इस स्कूल में प्रिंसिपल निलिमा जोशी के अलावा चार शिक्षक है।

ये रोज आते है और हाजिरी लगाकर घर चले जाते है। आश्चर्य है कि ऐसे हालात बीते एक वर्षो से है। अब मामला सामने आने के बाद डीईओ का कहना है कि इस मामले में स्कूल की प्रधानाध्यापक से पूछा जाएगा कि स्कूल में स्टूडेंट क्यों नहीं है। साथ ही खाली बैठे वहां के शिक्षकों को अब दूसरे स्कूलों में भेजा जाएगा।

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