भारतीय राजनीति के फलक पर श्रीमती इंदिरा गांधी के हाथ में पीएम पद ऐसे समय में आया था जब देश नेतृत्व के संकट से जूझ रहा था. शुरू में गूंगी गुडि़या कहलाने वाली इंदिरा ने अपने चमत्कारिक नेतृत्व से न केवल देश को कुशल नेतृत्व प्रदान किया बल्कि विश्व मंच पर भी भारत की धाक जम दी.
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आपकी जानकारी के लिए बता दे कि कांग्रेस के वरिष्ठ नेता कर्ण सिंह ने बातचीत में बताया था इंदिरा एक कुशल प्रशासक थीं. उनके सक्रिय सहयोग से बांग्लादेश अस्तित्व में आया. जिससे इतिहास और भूगोल दोनों बदल गए. इंदिरा गांधी द्वारा आपातकाल लगाये जाने पर पूछे गये सवाल के जबाव में उन्होंने कहा कि मैं समझता हूं कि आपातकाल लगाना गलत था और अपनी इस भूल को उन्होंने भी बाद में स्वीकार किया था.
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बचपन से ही इंदिरा में नेतृत्व के गुण मौजूद थे. भारत के आजादी के आंदोलन को गति प्रदान करने के लिए इंदिरा ने बचपन में ही वानर सेना का गठन किया था.जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय के पूर्व प्रोफेसर कलीम बहादुर ने बताया कि इंदिरा का प्रधानमंत्रित्व काल बहुत अच्छा था. उन्होंने बहुत से ऐसे काम किये जिससे विश्व में भारत का सम्मान बढ़ा. उन्होंने भारत की विदेश नीति को नए तेवर दिए बांग्लादेश का बनना उनमें से कुछ उदाहरण हैं. इससे उन्होंने विश्व मानचित्र पर देश का दबदबा कायम किया.
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