यह भारत की बेहतर अर्थव्यवस्था का ही परिणाम है कि तमाम जटिलताओं के बावजूद भारत वैश्विक प्रतिस्पर्धा में 16 अंकोंकी ऊँची छलांग लगाकर 39वें स्थान पर पहुंच गया है. यह बात भारतीयों के लिए गर्व करने लायक है कि वस्तु बाजार दक्षता में सुधार से भारत की रैंकिंग में सुधार हुआ है. बता दें कि पिछले साल भारत इस सूची में 55वें स्थान पर था. जिसमें 16 अंकों की छलांग लगाते हुए वह इस साल 39 वें स्थान पर पहुँच गया.
बता दें कि ब्रिक्स देशों (ब्राजील, रूस, भारत, चीन, दक्षिण अफ्रीका) में चीन के बाद भारत दूसरे नंबर पर है. गौरतलब है कि इस साल सूची में 138 अर्थव्यवस्थाओं की प्रतिस्पर्धा को परखा गया था जिसमें लगातार आठवीं बार स्विट्जरलैंड अव्वल रहा, जबकि इस सूची में सिंगापुर दूसरे तथा अमेरिका तीसरे स्थान पर रहा है.
जहाँ तक अंकों का सवाल है तो इंडेक्स में भारत के अंक 4.52 रहे, जबकि पहले स्थान पर रहने वाले स्विट्जरलैंड के 5.81 अंक थे. सूची में नीदरलैंड चौथे, जर्मनी पांचवें, स्वीडन छठे, ब्रिटेन सातवें, जापान आठवें, हांगकांग नौवें तथा फिनलैंड दसवें स्थान पर है.