नई दिल्लीः देश में इस साल मानसून में अच्छी बारिश हुई है। जिससे बीते कई सालों से सुखे का सामना कर रहे किसानों को राहत मिली। मगर अब यह बारिश फसलों के लिए नासूर बनने लगे हैं। अत्यधिक बारिश के कारण बुआई रकबा बढ़ने के बजाय कम हो गया है। भारी बारिश से कई राज्यों में बाढ़ आ गई है। जिससे खेत में लगे फसल खराब हो चुकी है। इस डबल नुकसान से ग्रामीण अर्थव्यवस्था को बड़ा झटका लगेगा। जो पहले से ही खराब हालातों का सामना कर रही है।
खरीफ सीजन की प्रमुख फसल धान की जहां रोपाई कम हो पाई है, वहीं दलहन जैसी अहम फसलों का रकबा घट गया है। चालू मानसून सीजन में जून को छोड़ बाकी महीनों में बरसात लगातार हुई है। देश के ज्यादातर हिस्सों में बारिश औसत से अधिक हुई है। मध्य प्रदेश, राजस्थान, गुजरात और महाराष्ट्र में मानसून की बारिश जारी है। लौटते मानसून की इस बारिश से आई बाढ़ से इन राज्यों में तबाही हुई है। इसका सबसे अधिक असर खेतों में खड़ी फसलों पर पड़ा है।
मौसम विभाग के जारी आंकड़ों के मुताबिक अभी तक बारिश सामान्य से तीन फीसद अधिक दर्ज की जा चुकी है। बीते सप्ताह कृषि मंत्री नरेंद्र तोमर ने खरीफ सीजन में बंपर पैदावार का अनुमान जाहिर किया था। मगर घटा बुआई रकबा और बाढ़ से हुए नुकसान की आशंका के मद्देनजर उत्पादन के प्रभावित होने का खतरा बरकरार है। इससे कृषि की अर्थव्यवस्था गड़बड़ा सकती है, जो किसानों की हालत बिगाड़ सकती है। बता दें कि मानसून का यह आखिरी सप्ताह है। मिट्टी में बढ़ी हुई नमी रबी सीजन के लिए वरदान साबित होगी।
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