प्रवासी दवा नहीं जहर है, जो हम नहीं निगलेंगेः हंगरी पीएम
प्रवासी दवा नहीं जहर है, जो हम नहीं निगलेंगेः हंगरी पीएम
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बुडापेस्ट : प्रवासियों को शरण देने को लेकर यूरोपीय संघ में घमासान मचा हुआ है। इसी बीच हंगरी के प्रधानमंत्री विक्टर ऑर्बन ने यूरोप में आने वाले प्रवासियों और अन्य शरणार्थियों को जहर कहकर संबोधित किया है। उनका कहना है कि ऐसे जहर को हंगरी कभी नहीं निगलेगा। ब्रिटिश अखबारों में प्रकाशित खबरों के अनुसार, इस साल करबन 18 हजार प्रवासी हंगरी में आए है।

बुडापेस्ट में हुई प्रेस कॉन्फ्रेंस में ऑर्बन ऑस्ट्रियन चांसलर क्रिस्चियन कर्न के साथ मौजूद थे। तभी उन्होने कहा कि हंगरी को देश की अर्थव्यवस्था चलाने के लिए या फिर देश की जनसंख्या बढ़ाने के लिए एक भी माइग्रेंट की आवश्यकता नहीं है। विक्टर ने कहा कि इसी कारण से हमें कॉमन यूरोपियन माइग्रेशन पॉलिसी की भी जरुरत नहीं है, जिसे जरुरत हो, वो प्रवासियों को रख सकता है, लेकिन उन्हें हमारे उपर न थोपा जाए।

हंगरी के पीएम का मानना है कि यह एक समाधान की बजाए समस्या है। ये दवा नहीं जहर है, जिसकी हमें जरुरत नहीं, हम इसे नहीं निगल सकते। ऑर्बन ने यूरोपियन यूनियन की उस योजना का मजबूती के साथ विरोध किया है, जिसमें 28 देशों के ब्लॉक में प्रवासियों को बांटने के लिए कोटा सिस्टम निर्धारित किया गया है। हंगरी 2 अक्टूबर को ईयू माइग्रेशन रिलोकेशन स्कीम पर जनमत संग्रह कराएगा।

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