दिल्ली : दिल्ली हाईकोर्ट ने राजस्थान के किसान गजेंद्र सिंह को "शहीद" का दर्जा देने के फैसले के खिलाफ दायर जनहित याचिका पर दिल्ली सरकार से जवाब-तलब किया है. गजेंद्र ने दिल्ली में आम आदमी पार्टी की एक रैली में कथित तौर पर फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली थी. मुख्य न्यायाधीश जी रोहिणी और न्यायमूर्ति आरएस एंडलॉ की पीठ ने दिल्ली सरकार के वकील से कहा कि वह इस मामले को लेकर दायर एक अधिवक्ता की जनहित याचिका पर जरूरी निर्देश प्राप्त करें. याचिका में अरविंद केजरीवाल सरकार को किसान गजेंद्र सिंह की याद में एक प्रतिमा लगाने से भी रोकने का निर्देश देने की मांग की गई है.
पीठ ने कहा, "दिल्ली सरकार के वकील ने याचिका में कही गई बातों के बारे में निर्देश लेने के लिए समय मांगा है. इसकी इजाजत दी जाती है". सरकार के वकील रमन दुग्गल ने इस मुद्दे पर निर्देश लेने पर सहमति जताई. उन्होंने कहा कि उन्हें याचिका की प्रति नहीं मिली है. अदालत ने इस बीच मृत किसान की प्रतिमा लगाने से दिल्ली सरकार को रोकने का याचिकाकर्ता का अनुरोध ठुकरा दिया. अदालत ने कहा, "हमारे पास मंत्रिमंडल के फैसले के बारे में कोई सामग्री नहीं है". पीठ ने कहा, "दिल्ली सरकार के वकील को निर्देश लेकर आने दें".
उन्होंने मामले पर अगली सुनवाई की तारीख एक जुलाई को तय कर दी. अदालत अधिवक्ता अवध कौशिक की याचिका पर सुनवाई कर रही थी, जिसमें जंतर-मंतर पर गत 22 अप्रैल को किसान गजेंद्र के आत्महत्या करने के कृत्य का महिमामंडन, उचित ठहराने, समर्थन करने, प्रचार करने और पवित्र बनाने से रोकने की मांग की गई है.