नई दिल्ली : भारतीय कुश्ती महासंघ अस्थायी तौर पर निलंबित महिला पहलवान बबिता कुमारी को हाल की क्वालीफाइंग प्रतियोगिता में अपने मुकाबले में नहीं उतरने के लिए माफ करके उन्हें रियो खेलों में खेलने की अनुमति देने के लिए तैयार है. बबिता की प्रतिद्वंद्वी के डोप परीक्षण में नाकाम रहने के बाद अब उन्हें ओलंपिक कोटा मिल गया है. बबिता (महिलाओं की 53 किग्रा) और एक अन्य पहलवान रविंदर खत्री (ग्रीको रोमन 85 किग्रा) भाग्यशाली रहे जो उन्हें रियो खेलों के लिए सीट मिल गई क्योंकि वर्ल्ड रेसलिंग फेडरेशन ने उन पहलवानों को ओलंपिक में भाग लेने से रोक दिया है जो डोपिंग में नाकाम रहे और कोटा स्थान उनके भार वर्ग में अगला बेस्ट प्रदर्शन करने वाले पहलवान को सौंप दिया है.
डब्ल्यूएफआई के सहायक सचिव विनोद तोमर ने कहा, बबिता ने (मंगोलिया में पहले वर्ल्ड क्वालीफिकेशन टूर्नामेंट में) मुकाबले में नहीं उतरने के लिए माफी मांग ली है. उसने कहा कि अपनी शक्ति बचाए रखने के लिए वह मुकाबले में नहीं उतरी क्योंकि यह महज औपचारिक मुकाबला रह गया था. उन्होंने कहा, अब उसने कोटा स्थान हासिल कर लिया है तो उसे माफी देकर ओलंपिक में खेलने की अनुमति मिल सकती है. मंगोलिया की सुमिया ईडेनचिमेग के एशियाई ओलंपिक क्वालीफायर में डोपिंग में नाकाम रहने के कारण बबिता को कोटा स्थान दिया गया.
वह अभी हालांकि अस्थायी तौर पर निलंबित है लेकिन डब्ल्यूएफआई की मंगलवार को होने वाली बैठक में उनसे प्रतिबंध हट सकता है. बबिता के अलावा उनकी बड़ी बहन गीता फोगाट (महिला 58 किग्रा), सुमित (पुरुष 125 किग्रा फ्रीस्टाइल) और राहुल अवारे (पुरुष 57 किग्रा फ्रीस्टाइल) को भी अनुशासनहीनता के लिए अस्थायी तौर पर निलंबित किया था. गीता को भी उनके पिछले रिकॉर्ड को देखते हुए माफी दी जा सकती है.