भाग्यवान स्त्री के लक्षण

सामुद्रिक शास्‍त्र, भारतीय ज्योतिष का एक प्रमुख अंग है। इसके आधार पर विभिन्‍न अंगों की सरंचना को देख आप व्‍यक्ति के बारे में आंकलन कर सकते हैं। इसमें व्यक्ति के शारीरिक, मानसिक, और व्यावहारिक लक्षण देख उसके शुभ अशुभ लाक्षणिक परिणामों का विशेलेषण कर आने वाले समय के लिये भविष्यवाणी की जाती है जो की बहुत सटीक होती है|

आइये जाने भाग्यवान स्त्री के लक्षण :- 

1 जो स्त्री गृहस्ती में धन का संतुलन बनाकर चलती हो,  पैसे बचाती हो और अपने परिवार की सहायता करती हो। जिसकी आवाज़ कोयल की तरह मीठी हो और जो साहसी,पराक्रमी, धर्म परायण हो ने के साथ अपने पति को पूर्ण समर्पित हो वो साक्षात् लक्ष्मी स्वरूपा होती है|

2 जो स्त्री सत्य कथन कहती हो विनम्र,सद्गुणो से परिपूर्ण, विविध कला की धनी और लज्जा से युक्त हो ऐसी स्त्र्यियों कूल और परिवार में शोभित हो सभी सुखो को और प्रेम को प्राप्त करती है|

3 जो स्त्री अपने गुण और अवगुणो में संतुलन रख सत्य और धर्म का अनुयन करती हो, देश काल ,परिस्थिती देखर व्यवहार करती है वो सौभाग्यशाली हो परिवार और समाज में सम्मान पाती है|

4 जो स्त्री अपने से बड़ों का सम्मान करती हो साथ ही अपने किसी भी काम के लिए बड़ों की राय लेती हो और उनके ज्ञान और अनुभव को अपने और परिवार के भलाई के लिए इस्तेमाल करती हो, वे स्त्रियां सबकी चहेती बन घर की शोभा बढती है |

5 जो स्त्री ज्ञानी हो, गुणों से परिपूर्ण हो,नम्र हो, मृदुभाषी और मितव्ययी हो, साहसी हो,अनुशासन प्रिय हो,और प्रेम से परिपूर्ण हो ऐसी स्त्रियां परिवार पर राज करती है और परिवार के हर सदस्य के जीवन में सकारात्मक बदलाव लाती है|

आचार्य चाणक्य के अनुसार विजयी पुरुषों...
चाणक्य नीति कहती है- जिनमे ये गुण ना हो...
चाणक्य नीति - भाग 2 (दुर्जनो के साथ कैसा व्यवहार हो )
 

न्यूज ट्रैक वीडियो

- Sponsored Advert -

Most Popular

- Sponsored Advert -