वाशिंगटन : अमेरिका में भारत के नए राजदूत अरुण कुमार सिंह ने व्हाइट हाउस में राष्ट्रपति बराक ओबामा के ओवल कार्यालय में आयोजित एक समारोह में औपचारिक रूप से उन्हें अपने दस्तावेज सौंप दिए। ओबामा ने गर्मजोशी के साथ अरुण कुमार का अमेरिका में स्वागत किया और भारत के नए राजदूत के रूप में उनकी नई जिम्मेदारियों के सफलतापूर्वक निर्वहन के लिए उन्हें शुभकामना दी। इस दौरान उन्होंने जनवरी के अपने भारत दौरे और भारतीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के साथ अपनी मित्रता को याद किया। इसके बाद अरुण कुमार ने भी ओबामा और अमेरिका की प्रथम महिला मिशेल ओबामा का राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी तथा प्रधानमंत्री मोदी की ओर से अभिवादन किया।
अरुण कुमार ने कहा कि वह भारत-अमेरिका रणनीतिक साझेदारी को वैश्विक, रणनीतिक और भारत के विकास के लिए परिवर्तनकारी बनाने की दिशा में काम करने को लेकर प्रतिबद्ध हैं, जिसका निर्णय दोनों देशों के नेताओं ने सितंबर 2014 और जनवरी 2015 में हुए सम्मेलनों में लिया था। अमेरिका में हाल में कार्यभार संभालने वाले सात राजदूतों में से अरुण कुमार ने सबसे पहले इसके लिए आयोजित परंपरागत समारोह में ओबामा को अपने दस्तावेज सौंपे। इसे वाशिंगटन में किसी भी राजदूत की औपचारिक शुरुआत माना जाता है।
अरुण कुमार ने एस. जयशंकर का स्थान लिया है, जिन्हें पदोन्नति देकर जनवरी में विदेश सचिव बनाया गया है। अरुण कुमार ने अमेरिका में भारत के राजदूत की हैसियत से 30 अप्रैल को भी कार्यभार संभाल लिया था। उन्होंने उस वक्त अपने दस्तावेज अमेरिकी विदेश मंत्रालय को सौंपे थे। वह अप्रैल 201 से अप्रैल 2015 तक फ्रांस में भारत के राजदूत रहे। इससे पहले उन्होंने इजरायल के राजदूत के रूप में अप्रैल 2005 से सितंबर 2008 के बीच सेवा दी थी।
अक्टूबर 2008 से अप्रैल 2013 तक वह वाशिंगटन में भारतीय दूतावास के उप प्रमुख थे। वह वर्ष 1997 से 2000 के बीच में रूस की राजधानी मास्को स्थित भारतीय दूतावास में काउंसलर/मंत्री के पद पर भी कार्यरत रहे। वर्ष 2000 से 2005 के दौरान दिल्ली में उन्होंने सेवा दी और इस दौरान विदेश मंत्रालय में संयुक्त सचिव के रूप में उन्होंने पहले संयुक्त राष्ट्र की नीतियों और फिर बाद में पाकिस्तान, अफगानिस्तान तथा ईरान प्रभागों में काम किया।
अरुण कुमार ने वर्ष 1993 से 1997 के बीच न्यूयार्क में संयुक्त राष्ट्र के भारतीय स्थाई मिशन में भी काउंसलर के रूप में सेवा दी और कई बहुपक्षीय सामाजिक एवं आर्थिक मुद्दों पर वार्ता में हिस्सा लिया। वह रूसी और जापानी भाषा भी बोलना जानते हैं। उन्हें कुछ हद तक फ्रेंच तथा हिब्रू भाषा की भी जानकारी है। मैना चावला सिंह उनकी पत्नी हैं। उनकी एक बेटी है। अरुण कुमार भारतीय विदेश सेवा से 1979 में जुड़े थे। उन्होंने दिल्ली विश्वविद्यालय से अर्थशास्त्र में स्नातकोत्तर किया था और दो साल विश्वविद्यालय में पढ़ाया भी था।