यूपी में बच्चों को मौत के मुंह में झोंककर किया जा रहा बारूद का काला कारोबार
यूपी में बच्चों को मौत के मुंह में झोंककर किया जा रहा बारूद का काला कारोबार
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मेरठ : देश की सरकार बाल श्रम प्रतिबंध की बात करती ही लेकिन कई लोग अभी भी ऐसे ही जो पुलिस की नाक के नीछे नाबालिग बच्चों से काम करवा रहे है। दीपावली करीब आते ही पटाखा बनाने का कारोबार धड़ल्ले से शुरू हो जाता है। घर घर में पटाखे बनाने का काम ऐसे होता है जैसे कोई सब्जी भाजी पकाई जा रही हो। हैरान करने वाली बात यह है कि इस कारोबार को चलाने वाले माफियाओ ने मासूम बच्चों को बारूद के ढेर पर बैठा दिया ही। उनसे ऐसे काम करवाया जा रहा है जैसे उनकी जिंदगी की कोई कीमत नही। यह सब हो रहा है मवाना क्षेत्र में।

यहाँ अवैध रूप से दीपवाली के लिए पटाखा बनाने का कारोबार इतनी तेज़ी से चल रहा है कि बच्चों की जान की परवाह भी नही की जा रही है। उन्हें खुलेआम मौत के मुंह में झोंक दिया जा रहा है। बच्चे सुतली बम जैसे खतरनाक विस्फोटक सामग्री बना रहे है। अगर बच्चों से किसी तरह की कोई लापरवाही हुई तो एक छोटी सी गलती की वजह से भारी नुकसान उठाना पड़ सकता।

बता दे यह कोई पहली बार नही है जब बच्चों को मौत के मुंह में झोंककर बारूद का कारोबार करवाया जा रहा है इससे पहले भी ऐसा ही कई बार हो चूका है। थाना मवाना क्षेत्र गांव सटला में ही एक बार इस तरह की पटाखा बनाने की अवैध फेक्ट्री बड़े हादसे का शिकार हो गई थी जिसमे एक ही परिवार के कई लोगो को अपनी जान गंवाना पड़ा था।आसपड़ोस के लोगो को भी भारी नुकसान का सामना करना पड़ा था। फ़िलहाल पुलिस ने इस तरह के अवैध कारोबार पर कार्यवाही करते हुए लाखो के पटाखे और बारूद जब्द किया है।

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